टोक्यो ओलिंपिक: खेल को अर्श और फर्श पर ले जाने वाले 2 खिलाड़ी

इस बार के ओलिंपिक खेलों में 2 ऐसी बातें या घटनाएं देखने को मिलीं, जिन में पहली घटना में एक खिलाड़ी ने वह कारनामा किया कि उस की दुनिया जहान में खूब वाहवाही हुई, जबकि दूसरी घटना में एक खिलाड़ी ने अपनी करतूत से खेल को ही शर्मसार कर दिया.

पहला मामला ऊंची कूद यानी हाई जंप से जुड़ा है. दरअसल, 30 साल के मुताज बरशीम और 29 साल के गियानमार्को टेंबरी ने हाई जंप के फाइनल में 2.37 मीटर जंप के साथ मुकाबला खत्म किया था. वे दोनों खिलाड़ी 3-3 बार 2.39 मीटर जंप की कोशिश में नाकाम रहे थे.

इस टाई पर ओलिंपिक रैफरी ने दोनों को ‘जंप औफ’ रूल के बारे में बताया और कहा कि इस ‘जंप औफ’ में जो जीतेगा, गोल्ड मैडल उस का होगा.

रैफरी के प्रस्ताव के बाद मुताज बरशीम ने उन से पूछा कि अगर आगे मुकाबला न हो तो क्या उन दोनों को गोल्ड मिल सकता है?

इस पर रैफरी ने हामी भरी, तो यह सुनते ही मुताज बरशीम तुरंत गियानमार्को टेंबरी के पास गए और हाथ मिला कर गोल्ड मैडल की जीत का गोल्डन हैंडशेक किया.

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इतना सुनते ही खुशी के मारे गियानमार्को टेंबरी ने मुताज बरशीम को गले से लगा लिया और तकरीबन उन पर कूद पड़े. इस के बाद उन दोनों ने पूरे मैदान का चक्कर लगाया.

यह वाकई एक ऐतिहासिक पल था जब ओलिंपिक हाई जंप में इन 2 दोस्तों ने मैच टाईब्रेकर में ले जाने के बजाय गोल्ड मैडल साझा करने का सुनहरा रास्ता चुना.

गौरतलब है कि मुताज बरशीम और गियानमार्को टेंबरी दोनों अच्छे दोस्त हैं. मुताज बरशीम ने लंदन और रियो ओलिंपिक में सिल्वर मैडल जीता था.  इस के अलावा वे साल 2017 और साल 2019 में 2 वर्ल्ड चैंपियनशिप का खिताब भी हासिल कर चुके हैं.

इटली के गियानमार्को टेंबरी के पैर में साल 2016 के रियो ओलिंपिक से पहले चोट लग गई थी. चोट के बाद वे खेलों में अच्छी वापसी चाहते थे और उन्हें अब गोल्ड मैडल मिल गया है. भावुक गियानमार्को टेंबरी ने बताया कि उन्होंने इस पल का कई बार सपना देखा, जो अब पूरा हुआ है.

खेल भावना की इस शानदार मिसाल के बाद उस मामले पर गौर करते हैं, जिस ने टोक्यो ओलिंपिक का मजा किरकिरा कर दिया.

हुआ यों कि मैराथन के दौरान अपने साथ दौड़ रहे धावकों से आगे निकलने के लिए एथलीट मोरहाद अमदौनी ने तमाम एथलीटों के लिए रखी पानी की बोतलों को गिरा दिया. उन की यह करतूत वहां मौजूद कैमरे में कैद हो गई.

टोक्यो में भीषण गरमी के बावजूद एथलीटों को किसी भी तरह की छूट नहीं दी गई थी, लेकिन उन के लिए आयोजकों ने ट्रैक के किनारे मेज पर पानी की बोतलें रखी थीं, ताकि एथलीट दौड़ते हुए ही पानी की बोतल उठा सकें और पिए या फिर सिर पर उड़ेल लें, ताकि प्यास और गरमी से बचे रहें.

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लेकिन मोरहाद अमदौनी ने पानी की बोतल उठाने की जगह बाकी बोतलों को भी जानबूझ कर गिरा दिया. शायद उस की मंशा थी कि कुछ खिलाड़ी गिरी बोतलों में उलझ कर पीछे रह जाएं. ऐसा कितना हुआ यह तो पता नहीं, पर सोशल मीडिया पर यह वीडियो सामने आने के बाद इस खिलाड़ी की खूब किरकिरी हुई.

एक शख्स ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ‘टोक्यो ओलिंपिक में सब से घटिया करतूत करने वाले इस फ्रांसीसी खिलाड़ी धावक मोरहाद अमदौनी को गोल्ड मैडल मिलना चाहिए, जिन्होंने जानबूझ कर अपने साथियों का पानी गिरा दिया.’

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वैसे, फ्रांसीसी खिलाड़ी अमदौनी की इस घटिया हरकत से कोई खास फर्क नहीं पड़ा, क्योंकि वे खुद 2 घंटे, 14 मिनट और 33 सैकंड में रेस पूरी करने के बाद 17वें नंबर पर रहे, जबकि उन के पीछे नीदरलैंड्स के आब्दी नगेई थे, जिन्होंने 2 घंटे, 9 मिनट और 58 सैकंड के साथ अपनी रेस पूरी की और  सिल्वर मैडल पर अपना कब्जा जमाया.

केन्या के एलियुड किपचोगे ने 2 घंटे, 8 मिनट और 38 सैकंड के समय में ओलिंपिक पुरुष मैराथन का खिताब अपने पास ही बरकरार रखा.

ओलंपिक: नीरज भारत का “गोल्डन सन”

टोक्यो ओलंपिक 2021 में जिस चीज पर संपूर्ण देश की निगाह थी उसे नीरज चोपड़ा ने देखते ही देखते हासिल कर लिया और संपूर्ण देश की आंखों में खुशी के आंसू छलक आए. नीरज चोपड़ा ने स्वर्ण पदक दिलाकर भारतीय खेलों के लिए एक नये अध्याय को खोल दिया है.

“ट्रैक एंड फील्ड” मे भारत को पहला स्वर्ण पदक दिलाकर देशवासियों को गौरव करने का अवसर दिया है.मिल्खा सिंह,अंजू बॉबी जॉर्ज,पी टी उषा के सपनों को आगे बढ़ाने और एक नए क्षितिज देने का काम नीरज चोपड़ा के मजबूत देखते ही देखते कर दिखाया है.

सच तो यह है कि जिसका देश को लंबे समय से इंतजार था उसे सच कर दिखाया है.
टोक्यो ओलिंपिक 2021 मे जेवलिन थ्रो मे 87.58 मीटर भाला फेंक कर नीरज चोपड़ा ने भारत का गौरव बढ़ाया है और एक इतिहास रच दिया है.

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दरअसल, अभिनव बिंद्रा के बाद व्यक्तिगत प्रतियोगिताओं मे स्वर्ण पदक लाने वाले दूसरे भारतीय बन गये हैं.नीरज ने क्वालीफाइंग राउंड मे जो बढ़त बनाई वह अद्भुत अकल्पनीय थी. उनका प्रदर्शन सतत रूप से बेहतर उत्कृष्ट था. स्वर्ण मिलने के बाद राष्ट्रगान ने नीरज चोपड़ा के साथ ही सभी भारतीय की आंखे भी नम हो गई.

वस्तुत: पदकों की दृष्टि से टोक्यो ओलिंपिक 2021 का 7 अगस्त यानी 16वां दिन हमारे देश के लिए सबसे ज्यादा खुशी लेकर आया था. भारत के स्टार पहलवान बजरंग पूनिया ने कुश्ती का ब्रॉन्ज मेडल मैच कजाखस्तान के पहलवान को चारों खाने चित कर भारत की झोली मे डाल दिया. साथ ही भारत ने ओलंपिक खेलों में सबसे ज्यादा पदक जीतने के अपने रिकॉर्ड की बराबरी कर ली है. और फिर आया स्वर्णिम क्षण जब नीरज चोपड़ा के स्वर्ण पदक के साथ भारत ने लंदन ओलंपिक खेलों में सर्वाधिक 6 पदक के रिकॉर्ड को तोड़ते हुए सात पदक का नया रिकार्ड बनाया.

भारत की बेटी अदिति ने भी गोल्फ कोर्स मे बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए चौथा स्थान प्राप्त किया.

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“गोल्डन सन” पर रुपयों की बरसात

जैसा कि हमारे यहां पुरानी परंपरा है खिलाड़ी जब कमाल दिखाता है तो हम रूपए पैसों से उसे निहाल कर देते हैं. यहां भी कुछ ऐसा ही देखने को मिला. जहां देश के गणमान्य लोगों ने नीरज को बधाई दी बातचीत की, वहीं करोड़ों रुपए की बरसात नीरज चोपड़ा पर होने लगी है.

जो हमें, हमारी खेल दृष्टिकोण पर सोचने पर मजबूर करती है. उस पर हम आगे बात करेंगे. यहां हम आपको बताते चलें कि किस-किस ने कितने करोड रुपए नीरज पर न्योछावर कर दिए हैं.

गोल्ड मेडल जीतने के बाद धन वर्षा का सिलसिला हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने शुरू किया. नीरज की जीत के बाद मुख्यमंत्री खट्टार ने कहा- इस स्टार खिलाड़ी को राज्य सरकार की तरफ से 6 करोड़ रुपये मिलेंगे. यही नहीं हरियाणा ने चोपड़ा को क्लास-1 की नौकरी भी देने का ऐलान किया है.
हरियाणा के बाद पंजाब पीछे नहीं था मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने 2 करोड़ रुपए देने का ऐलान कर दिया. उन्होंने कहा कि नीरज चोपड़ा का पंजाब से एक गहरा नाता है, ऐसे में उनका गोल्ड जीतना सभी पंजाबियों के लिए गर्व की बात है.

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मणिपुर की सरकार भी पीछे नहीं रही उसने भी नीरज चोपड़ा को 1 करोड़ रुपये देने का ऐलान किया है. रुपयों की बरसात का यह तो पहला ही दिन था आने वाले समय में हम देखेंगे कि किस तरह नीरज चोपड़ा पर करोड़ों रुपए की और भी बारिश हो रही है. जो उनके लिए जहां देश के प्रेम को दर्शाता है वहीं यह भी प्रश्न उठ खड़ा हुआ है कि अगर खेलों को लेकर के हमारे नियम कायदे और दृष्टि बदल जाए तो हम भी चीन से पीछे नहीं रहेंगे.

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