पुलवामा हमले पर बौलीवुड बनाएगा फिल्म

बीते फरवरी 14 तारीख को पुलवामा में हुए आतंकी हमले में सीआरपीएफ के करीब 40 जवानों की मौत हो गई. इसके जवाब में भारत ने पाकिस्तान पर जवाबी हमला करते हुए एयर स्ट्राइक किया. इस पूरे घटनाक्रम पर बौलीवुड में फिल्म बनने वाली है, फिल्म के साथ संजय लीला भंसाली और भूषण कुमार जैसे बड़े नाम जुड़ गए हैं.

खबरों की माने को फिल्म के निर्देशक होंगे अभिषेक कपूर. अभिषेक केदारनाथ के निर्माता हैं. भंसाली और भूषण कुमार के अलावा महावीर जैन भी फिल्म को प्रोड्यूस करेंगे. अभी तक फिल्म का स्टारकास्ट तय नहीं किया गया है. पर प्रोडक्शन और डायरेक्शन टीम को देखते हुए उम्मीद की जा रही है कि बड़े सितारे फिल्म से जुड़ेंगे.

वहीं खबर ये भी है कि फिल्म और टीवी सीरियल बनाने वाले निर्माताओं ने पुलवामा से लेकर बालाकोट तक और बाद में विंग कमांडर अभिनन्दन वर्तमान की वापसी तक को फिल्मी जामा पहनाने का फैसला किया है.

आपको बता दें कि 26 फरवरी को बालाकोट में जैश ए मोहम्मद के ठिकानों पर एयर स्ट्राइक की गई थी, जिसमें दावा किया जा रहा है कि बहुत से आतंकी मारे गए हैं. हालांकि अभी तक मारे गए आतंकियों के आधिकारिक आंकड़े नहीं मिले हैं. पर देश के वायुसेना की इस जवाबी कार्रवाई से देशवासी बड़े ही जोश में हैं.

‘अजनबी सा’, वो गाना जो करेगा महिलाओं को और मजबूत

‘‘फ्यूचर सोल’’ से चर्चा में आयी गायिका व संगीतकार अवनी जोशी इन दिनों औरतों को आत्मनिर्भर और भावनात्मक रूप से सशक्त बनाने के लिए संगीत के माध्यम से कार्य कर रही हैं.अब वह एक नया रौक गीत ‘‘अजनबी सा’’ लेकर आ रही हैं, जिसके म्यूजिक वीडियो में भी वह स्वयं नजर आएंगी. इस गीत को संगीत से अवनी जोशी ने ही संवारा है और इसकी प्रोग्रामिंग वेद शर्मा ने किया है.

अपने इस रौक गीत की चर्चा करते हुए अवनी जोशी कहती हैं- ‘‘अमूमन हर रौक गीत की राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहुंच काफी सीमित होती है. पर मैं इसे बड़े स्तर पर ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाने के लिए दृढ़ संकल्प हूं. इसीलिए हम इसका रोचक वीडियो भी बना रहे हैं, जिसमें एक रोचक कहानी होगी. इस कलात्मक गीत को रचने मे मुझे पूरी टीम का पूरा सहयोग मिला. मुझे पूरा यकीन है कि इस गाने को हर औरत पसंद करेगी. इस म्यूजिक वीडियो की कहानी भी काफी प्रेरणादायक है. मेरा मकसद हर लड़की को इस बात का अहसास दिलाना है कि वह इस धरती पर खास है. और यदि कोई आपकी इज्जत नहीं करता, तो उसे दरकिनार कर दीजिए. मैं इस संसार में हर औरत को आत्मनिर्भर और भावनात्मक रूप से सशक्त बनाना चाहती हूं.”

हनी सिंह, बादशाह को छोड़िए, अमिताभ बच्चन का ये रैप सुनिए

आपने हनी सिंह, बादशाह, डिवाइन, रणवीर सिंह और भी ना जाने कितनी हस्तियों को रैप करते सुना होगा. अब आपके सामने सदी के महानायक अमिताभ बच्चन रैप करते हुए आने वाले हैं. जी हां, अपनी फिल्म बदला के लिए अमिताभ ने ‘औकात’ नाम से रैप गाया है. इसे गुरुवार को रिलीज कर दिया गया है. इसके कंपोजर क्लिंटन सेरेजो हैं और लिरिक्स सिद्धार्थ कौशल ने लिखा है.

खबरों की माने तो जब बिग बी को इसके बोल सुनाए गए तो वो इससे खासा प्रभावित हुए. जिसके बाद उन्होंने तय किया कि इस रैप को वो खुद गाएंगे. आपको बता दें कि सुजौय की फिल्म बदला 8 मार्च को रिलीज होने वाली है. अमिताभ के अलावा फिल्म में तापसी पन्नू मुख्य किरदार निभा रही हैं. खुद तापसी ने इस रैप को अपने ट्विटर हैंडल से ट्वीट किया.

ये रैप काफी जोश से भरा हुआ है. इस फिल्म में अमिताभ ने एक और गाना गाया है. गौरतलब है कि फिल्म में तापसी और अमिताभ की जोड़ी दूसरी बार बड़े पर्दे पर साथ में नजर आने वाली है. इससे पहले ये दोनों फिल्म ‘पिंक’ में एक साथ काम कर चुके हैं. फिल्म बदला का निर्माण शाहरुख खान की प्रोडक्शन कंपनी रेड चीलिज कर रही है. इस फिल्म में शाहरुख कैमियो करते भी नजर आएंगे.

सोन चिड़िया : उम्मीदों पर खरी नहीं उतरती

रेटिंग : दो स्टार 

‘इश्किया’, ‘डेढ़ इश्किया’, ‘उड़ता पंजाब’ जैसी गाली गलौज और हिंसा प्रधान फिल्मों के निर्देशक अभिषेक चौबे इस बार सत्तर के दशक के चंबल के बीहड़ की पृष्ठभूमि पर डाकुओं की कहानी लेकर आए हैं, जिसमें उन्होंने श्राप, अंतर आत्मा की आवाज को सुनने से लेकर जातिवाद यानी कि गुर्जर बनाम ठाकुर की लड़ाई पेश की है. मगर पूरी फिल्म कहीं से भी प्रभावित नहीं करती.

फिल्म की कहानी के केंद्र में डाकू मान सिंह (मनोज बाजपेयी) का गिरोह है, जो कि ठाकुरों का गिरोह है. यह गिरोह औरतों पर हाथ नहीं उठाता. मगर इन पर गुर्जर जाति को समूल नष्ट करने के लिए एक पांच वर्ष की लड़की का श्राप है. इस गैंग में लखना (सुशांत सिंह राजपूत),वकील सिंह (रणवीर शौरी) जैसे कई डाकुओं का समावेश है. मगर इस डाकुओं के इस गिरोह को समूल नष्ट करने के लिए मध्य प्रदेश पुलिस के इंस्पेक्टर वीरेंद्र सिंह गुज्जर (आषुतोश राणा) ने कसम खा रखी है. इधर मान सिंह का गिरोह ईश्वर में आस्था रखने के साथ ही अपने वजूद को लेकर सवाल उठाने के अलावा अपने जीने की वजहें भी तलाशता रहता है. डाकू लखना सहित कुछ के मन में यह विचार आ रहा है कि वह सरकार के सामने आत्मसमर्पण करके नई जिंदगी जिए. बीहड़ के जंगलों में भटकते हुए एक दिन अचानक इस गिरोह को रास्ते में मरा हुआ सांप मिलता है, जिसके कुछ हिस्से गिद्ध नोंच चुके हैं, गिरोह के सदस्य चाहते हैं कि रास्ता बदल दिया जाए,मगर मान सिंह अपनी बंदूक से उस सांप को उठाकर एक किनारे पर रखकर गिरोह को आगे बढ़ने का आदेश देते हैं.उसके बाद लच्छू आकर उन्हे सूचना देता है कि ब्राम्हणपुरी के गांव में सुनार की बेटी की शादी है. इसे यह गिरोह लूटने जाता है, जबकि लच्छू ने मानसिंह को बताया था कि वह पुलिस के कहने पर ही सूचना देने आया है और लच्छू के पिता को पुलिस ने बंदी बना रखा है. मानसिंह अपने गिरोह के साथ सुनार के यहां पहुंचते हैं, जहां पुलिस इंस्पेक्टर वीरेंद्र सिंह गुज्जर अपने साथी पुलिस वालों की मदद से मान सिंह सहित कई डाकुओं को मौत के घाट उतार देते हैं. जबकि लखना व वकील सिंह जैसे कुछ डाकू सुरक्षित भागने में कामयाब हो जाते हैं. उधर रास्ते में मजबूर  इंदूमती तोमर (भूमि पेडणेकर) व बलात्कार की शिकार अछूत जाति की छोटी लड़की सोन चिड़िया मिलती है, जिसकी मदद करने के लिए लखना तैयार हो जाता है. मगर यहीं से लखना व वकील के बीच दूरी हो जाती है. अब यह गिरोह दो भागां में विभाजित हो जाता है. कहानी कई मोड़ों से गुजरती है. अंततः वकील सिंह व लखना सहित तमाम डाकू मारे जाते हैं. पर अंत में एक ठाकुर जाति का पुलिस सिपाही, पुलिस इंस्पेक्टर वीरेंद्र सिंह गुज्जर को मौत दे देता है.

movie review of son chidiya

फिल्म में प्रकृति के नियम का उल्लेख है कि ‘सांप, चूहे का शिकार करता है और बाज सांप का. यानी कि नियम है कि मारने वाला भी एक दिन मारा जाएगा. प्रकृति के इसी नियम को ढाल बनाकर फिल्मकार अभिषेक चौबे ने बीहड़ के डाकुओं की कहानी के साथ साथ जातिप्रथा, पितृसत्तात्मक सोच, लिंग भेद, अंधविश्वास का चित्रण करने के साथ ही न्याय करने और बदला लेने के बीच के अंतर का जिक्र करते हुए पूरी फिल्म को चूं चूं का मुरब्बा बनाकर रख दिया है. फिल्म में गंदी गालियों, बंदूकों की आवाज, खूनखराबे की ही भरमार है. फिल्म 70 के दशक कें डाकुओं के जीवन को सही परिप्रेक्ष्य में चित्रित करने में भी बुरी तरह से असफल रहती है. फिल्मकार पूरी तरह से भटके हुए नजर आते हैं. काश फिल्मकार अभिषेक चौबे ने 1996 की निर्देशक शेखर कपूर की फिल्म ‘बैंडिट क्वीन’ और 2012 में तिग्मांशु धुलिया की फिल्म ‘पान सिंह तोमर’ देखकर कुछ सीखा होता, तो वह तमाम गलतियां करने से बच जाते. बीहड़ में भटक रहे डाकुओं को अपने माथे पर तिलक लगाने की फुर्सत नही होती है. पूरी फिल्म यथार्थ से कोसों दूर है. फिल्म में संवादों की भरमार है.

फिल्म का नाम सोन चिड़िया है यानी कि सोने की चिड़िया की तलाश. मगर फिल्मकार इसके साथ भी न्याय नहीं कर पाए. फिल्म में एक अछूत बलात्कार की शिकार छोटी लड़की के हाथ पर उसका नाम सोन चिड़िया लिखा हुआ है, मगर इसे ठीक से फिल्म की कहानी का हिस्सा बना पाने में अभिषेक चौबे असफल रहे हैं.

इतना ही नहीं 21वीं सदी में यह फिल्म बनाते हुए अभिषेक चौबे ने फिल्म में दो महिला पात्र खास तौर पर रखे हैं और इन पात्रों को महज ‘संपत्ति’ के रूप में ही उपयोग किया है. जातिगत संघर्ष पर रोशनी डालते हुए फिल्म में एक संवाद है- ‘‘औरत की जाति अलग होती है’’ अपने आप में गाल पर तमाचा है. क्या इस तरह के संवाद होने चाहिए? यह सवाल तमाम दर्शक पूछते नजर आए.

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जहां तक अभिनय का सवाल है, तो मान सिंह के छोटे से किरदार में मनोज बाजपेयी को छोड़कर सभी कलाकार अपने किरदारों के साथ न्याय करने में पूरी तरह से विफल रहे हैं. भूमि पेडणेकर के करियर की यह चौथी, मगर सबसे कमतर अभिनय वाली फिल्म रही. गुर्जर जाति के पुलिस इंस्पेक्टर वीरेंद्र सिंह के किरदार में आशुतोष राणा जरुर याद रह जाते हैं.

फिल्म के कैमरामैन अनुज राकेश धवन की जितनी तारीफ की जाए, उतनी कम है. उन्होने अपने कैमरे के माध्यम से वीरान चंबल की घाटी को बहुत ही उत्कृष्ट तरीके से परदे पर उकेरा है. फिल्म का गीत संगीत भी प्रभावित नहीं करता.

दो घंटे 23 मिनट की अवधि वाली फिल्म ‘‘सोन चिड़ैया’’ का निर्माण रौनी स्क्रूवाला ने ‘‘आरएसवीपी मूवीज’’के बैनर तले किया गया है. फिल्म के निर्देशक अभिषेक चौबे, लेखक अभिषेक चौबे व सुदीप शर्मा, संगीतकार विशाल भारद्वाज, कैमरामैन अनुज राकेश धवन तथा कलाकार हैं- सुशांत सिंह राजपूत,भूमि पेडणेकर, मनोज बाजपेयी,रणवीर शौरी,आशुतोष राणा,अमित सियाल, महेश बलराज, श्रीधर दुबे, मंजोत सिंह, सुहेल नायर, शाहबाज खान, अंशुमन झा, जतिन समा, जितेन समीन, अब्दुल कादिर अमीन, भौमिक रंजन,देव उपाध्याय, नवदीप तोमर, विवेक सिंह, धीरज सिंह व अन्य.

पाकिस्तानी एक्टर्स की बद्तमीजी पर इंडियन एक्टर्स ने लगाई फटकार

पुलवामा में  आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच पैदा हुई टेंशन से इंटरटेंनमेंट इंडस्ट्रीज भी नहीं बची. बीते दिन भारतीय वायु सेना के जवान विंग कमांजर अभिनंदन को पाकिस्तानी आर्मी ने पकड़ा. अभिनंदन की तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुए. इसके बाद पाकिस्तान कुछ कलाकारों ने अभिनंदन के फोटो और वीडियो को शेयर करते हुए मजाक उड़ाया, जिसके जवाब में भारतीय स्लेब्स ने उनकी क्लास ली.

विंग कमांडर की फोटो शेयर करते हुए पाकिस्तानी एक्टर वीना मलिक ने लिखा कि, अभी अभी तो आए हो, अच्छी मेहमान नवाजी हो गई आपकी.

इसपर करारा जवाब देते हुए स्वरा फास्कर ने ट्वीट किया कि, वीना जी…लानत है तुम पर और तुम्हारी बीमार मानसिकता पर. तुम्हारी ऐसी खुशी पूरी तरह बेशरमी है. हमारा औफिसर बहादुर, दयालु और स्वाभिमानी है. कम से कम तुम्हारी सेना के उस मेजर में कुछ शालीनता बाकी है जो अभिनंदन से पूछताछ कर रहा है साथ ही तुम्हारे देश की जनता में भी जो शांति चाहती है.

इसके अलावा भाबी जी घर पर हैं कि स्टार सौम्या टंडन ने वीना मलिक को फटकार लगाते हुए कहा कि, विश्वास नहीं कर सकती कि उसके जैसा कोई ऐसी बात लिख रहा है. यह वाकई बहुत दुख की बात है.

अदनान सामी ने भी पाकिस्तान के इन ट्रोलर्स को मुंहतोड़ जवाब देते हुए लिखा कि, डियर पाक ट्रोल्स आपकी गालियां आपकी असलियत सामने लाती हैं. आपके और गंदगी की बाल्टी के बीच एकमात्र अंतर बाल्टी है.

आपको बता दें कि अदनान सामी के पिता पाकिस्तान के राजनायिक थे. 2016 में अदनान ने भारत की नागरिकता ले ली थी.

‘शमिताभ’ फेम संज्ञा लखनपाल अब म्यूजिक वीडियो में

फिल्म ‘शमिताभ’ में अमिताभ बच्चन का इंटरव्यू लेने वाली पत्रकार के किरदार को निभा चुकी अभिनेत्री संज्ञा लखनपाल उसके बाद विज्ञापन फिल्मों के अलावा फैशन शो आदि में ही व्यस्त रही हैं. पर अब वह एक म्यूजिक वीडियो ‘दिल ये मेरा दीवाना तेरा’ में सुमीन भट्ट के साथ नजर आने वाली हैं. इस गीत के गीतकार व गायक फैजल सुलेमान तथा संगीतकार फैजल व कलरव मनु सरोजवल उर्फ मनु हैं. इस म्यूजिक वीडियो का निर्माता सुमीत भट्ट का दावा है कि वह इस म्यूजिक वीडियो को गोवा की शानदार लोकेशन पर मार्च के पहले सप्ताह में फिल्माएंगे.

इस म्यूजिक वीडियो की चर्चा करते हुए संज्ञा लखनपाल ने कहा- ‘मेरी परवरिश आर्मी पृष्ठभूमि में हुई है. मैं 2010 में संपन्न ‘आईएमसी कौंटेस्ट’में टौप टेन में  थी. उसके बाद मैं अभिनय व संगीत से जुड़ गयी. जब मेरे मित्र सुमीन भट्ट ने मुझे गीत ‘दिल ये मेरा तेरा दीवाना’ सुनाया और मुझसे इसके म्यूजिक वीडियो का हिस्सा बनने के लिए कहा, तो मैं तैयार हो गयी. क्योकि यह एक प्यारा रोमांटिक गीत है. इसका म्यूजिक वीडियो एक रोचक रोमांटिक कहानी के साथ फिल्माया जाएगा.’

श्रीदेवी की मौत से पहले अमिताभ ने लिखी थी ये बात, हैरान थे लोग

बीते रविवार श्रीदेवी की पहली पुण्यतिथि थी. पिछले साल 24 फरवरी को श्रीदेवी की दुबई में होटल के एक बाथटब में डूब कर मौत हो गई थी. उनकी अचानक मौत की खबर ने सबको चौका दिया. पर इस सब के बीच एक अनोखी और हैरान कर देने वाली चीज हुई. श्रीदेवी की मौत की खबर से कुछ ही देर पहले अमिताभ बच्चन ने ट्वीट किया था कि, न जाने क्यूं, एक अजीब सी घबराहट हो रही है!!  


आपको बता दें कि  फिछले साल 24 फरवरी की सुबह 11:45 पर अमिताभ ने इस ट्वीट को किया. और कुछ ही देर बात श्रीदेवी के मौत की खबर मिली. आपको बता दें कि अमिताभ और श्रीदेवी ने बहुत से फिल्मों में साथ में काम किया था. इनमें खुदा गवाह, आखिरा रास्ता, इंकलाब जैसी फिल्में शामिल हैं.

श्रीदेवी की पहली पुण्यतिथि पर बौतीवुड के कई स्टार्स ने उन्हें श्रद्धांजलि दी. अपनी मां को याद करते हुए एक्ट्रेस जाह्नवी कपूर ने लिखा कि, मेरा दिल हमेशा भारी रहेगा लेकिन मैं हमेशा मुस्कुराती रहूंगी क्योंकि दिल में तुम हो.

वहीं कोरियोग्राफर फराह खान ने श्रद्धांजलि संदेश में लिखा कि, जब मैं अपने करियर की शुरुआत कर रही थी तो उन्होंने मेरा काफी सपोर्ट किया. उस समय किसी कोरियोग्राफर के लिए श्रीदेवी के गाने या शो में कोरियोग्राफी करना सपना होता था. उन्होंने लिखा कि श्रीदेवी के जैसा न कोई था और न कोई होगा.

पाकिस्तान ने दिया भारत में कलाकारों पर बैन का जवाब

जब भी पाकिस्तान भारत पर हमला करता है दोनों देशों की राजनैतिक फ्रंट पर गर्मागर्मी तो होती ही है, साथ में सांस्कृतिक, मनोरंजन, खेल समेत सारे क्षेत्र बुरी तरह से प्रभावित होते हैं. यही हालत एक बार और देखी जा रही है. हाल ही में पुलवामा हमले के बाद दोनों देशों के बीच रिश्ते बहुत खराब हो गए हैं. एक ओर कूटनीतिक दबाव बनाते हुए भारत ने आर्थिक मोर्चे पर कई महत्वपूर्ण कदम उठाएं तो वहीं बौलीवुड ने भी पाकिस्तानी कलाकारों का बहिष्कार किया. बीते शुक्रवार रिलीज हुई टोटल धमाल को भी पाकिस्तान में रिलीज नहीं किया गया. भारत की ओर से इस सख्ती का जवाब पाकिस्तान ने भी दिया है.

बीते दिन पाकिस्तान के लाहौर कोर्ट में एक याचिका दायर कर भारतीय फिल्मों के व्यापार, प्रदर्शन और बिक्री पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है. पाकिस्तान के एक अंग्रेजी अखबार के मुताबिक शेख मुहम्मद लतीफ ने अपने वकील के माध्यम से याचिका कर इस प्रतिबंध की मांग की है. मुहम्मद लतीफ ने अपनी याचिका में कहा है कि 2016 में संघीय सरकार ने भारतीय फिल्मों समेत अन्य कंटेंट के आयात पर प्रतिबंध लगाया था, पर तत्कालीन प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने 31 जनवरी 2017 में एक अधिसूचना जारी कर इस प्रतिबंध को हटाने की बात कही थी. अपने इस अधिसूचना के लिए सरकार ने पाकिस्तानी सिनेमा उद्योगों के पुनरुद्धार करने की आड़ ली है.

उन्होंने आगे कहा कि पुलवामा हमले के बाद औल इंडियन सिने वर्कर्स ने भारतीय फिल्म उद्योग में काम करने वाले पाकिस्तानी अभिनेताओं पर आधिकारिक प्रतिबंध लगाने की घोषणा की है. इसके जवाब में कार्रवाही की मांग करते हुए वो आग्रह करते हैं कि 2017 के नोटिफिकेशन को रद्द कर दिया जाए और फिल्मों समेत अन्य भारतीय कंटेंट्स पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया जाए.

तीन साल बाद इस फिल्म के साथ बड़े पर्दे पर दिखेंगी प्रियंका चोपड़ा

करीब तीन साल के लंबे ब्रेक के बाद प्रियंका चोपड़ा अपनी फिल्म के साथ बड़े पर्दे पर नजर आने वाली हैं. प्रियंका फरहान अख्तर के साथ अपनी अगली फिल्म ‘दी स्काई इज पिंक’ में नजर आएंगी. फिल्म 11 अक्टूबर को रिलीज होगी. इसकी जानकारी ट्रेड एनालिस्ट तरण आदर्श ने दी है. तरण ने अपने ट्वीट में लिखा कि- ‘रिलीज डेट फाइनल हो गई है. प्रियंका चोपड़ा, फरहान अख्तर और जायरा वसीम की फिल्म द स्काई इज पिंक 11 अक्टूबर को रिलीज होगी.’ आपको बता दें कि फिल्म का निर्देशन सोनाली बोस कर रही हैं.


प्रियंका पहली बार सोनाली के साथ काम कर रही हैं. फरहान के साथ इससे पहले वो दिल धड़कने दो में काम कर चुकी हैं, फिल्म का निर्देशन जोया अख्तर ने किया था. आपको बता दें  कि दी स्काई इज पिंक की स्टोरी आयशा चौधरी के जीवन पर है. आयशा एक मोटिवेशनल स्पीकर हैं. उन्हें 13 साल की उम्र में pulmonary fibrosis नामक बीमारी हो गई थी, लेकिन उन्होंने कभी हार नहीं मानी.

आयशा कम उम्र में ही TEDx, INK जैसी जगहों से बोल चुकी हैं. 18 साल की उम्र में उनका निधन हो गया था. उन्हें जन्म से ही SCID (Severe Combined Immuno-Deficiency) नाम की बीमारी थी. आयशा ने ‘माई लिटिल एपिफनीज’ नाम की एक किताब भी लिखी थी.

एक्टर से फिल्म प्रोड्यूसर बनेंगे शाहिद कपूर

मशहूर अभिनेता पंकज कपूर के बेटे व अभिनेता शाहिद कपूर हमेशा अपनी अभिनय प्रतिभा की बजाय अपने प्रेम संबंधों या अपने बयानों की वजह से ही चर्चा में रहे हैं. ‘शानदार’, ‘रंगून’, ‘वेलकम टू न्यूयार्क’ और‘बत्ती गुल मीटर चालू’ सहित कई असफल फिल्में देने के बाद अब शाहिद कपूर को फिल्म ‘कबीर सिंह’ से ही उम्मीदें हैं, तो दूसरी तरफ वह भी प्रियंका चोपड़ा व अनुष्का शर्मा जैसे कलाकारों के पदचिन्हों पर चलते हुए फिल्म निर्माण के क्षेत्र में कदम रखने जा रहे हैं.

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार मणिपुर के मशहूर बौक्सर नंगमा डिंगको सिंह की बायोपिक फिल्म का निर्माण करने के साथ साथ इसमें खुद मुख्य भूमिका निभाने वाले हैं. नंगमा डिंगको सिंह पर फिल्म बनाने के अधिकार शाहिद कपूर के ही पास हैं. इस फिल्म का निर्देशन करने के साथ साथ सह निर्माण दक्षिण के मशहूर निर्देशक राजा कृष्ण मेनन करेंगे. यूं तो पहले कहा जा रहा था कि इस फिल्म का फिल्मांकन जनवरी 2019 में शुरू हो जाएगा, मगर ऐसा नहीं हो पाया. सूत्र दावा कर रहे हैं कि अभी तक फिल्म की पटकथा पर काम हो रहा है. जब तक पटकथा से शाहिद कपूर संतुष्ट नहीं हो जाएंगे, तब तक शूटिंग शुरू नहीं की जाएगी. फिल्म को मणिपुर व दिल्ली के साथ साथ विदेशों में भी फिल्माया जाएगा.

नंगमा डिंगको सिंह ने 19 वर्ष की उम्र में बैंगकौक एशियन गेम्स में गोल्ड मैडल जीता था. 2017 में उन्हें कैंसर की बीमारी हुई थी, जिससे निजात पाने के लिए उन्हे 13 बार कीमोथिरैपी करानी पड़ी, जिसके लिए उन्हें अपने इम्फाल के घर को बेचना पड़ा. 2013 में उन्हें पद्मश्री से नवाजा गया था. इन दिनों वह ‘साई स्पेल एरिया गेम्स’ में कोच की हैसियत से काम कर रहे हैं. अब तक वह 12 से 14 वर्ष की उम्र के 150 बच्चों को प्रशिक्षित कर चुके हैं.

अब देखना है कि इस कदम से शाहिद कपूर का करियर किस दिशा में जाएगा?

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