सवाल 

मैं 20 वर्षीया शादीशुदा युवती हूं. विवाह को 3 वर्ष हो चुके हैं. 1 साल की एक बेटी भी है. पति दिल्ली में नौकरी करते हैं. मैं यहां ससुराल में रहती हूं. मेरी समस्या यह है कि मेरा मायका शहर में है इसलिए मैं गांव के रहनसहन से बिलकुल भी परिचित नहीं हूं. शादी के लिए भी मैं ने इसीलिए हां कर दी थी कि मुझे लगा था कि पति दिल्ली में नौकरी करते हैं इसलिए विवाह के बाद वे मुझे अपने साथ ले जाएंगे. पर ऐसा हुआ नहीं.

ससुराल में रहते हुए मैं अपनी तरफ से पूरी कोशिश करती हूं कि सास को खुश रखूं पर वे बातबात पर टोकती रहती हैं. उन्हें मेरी कोई आदत, कोई काम पसंद नहीं आता. क्या करूं समझ में नहीं आ रहा? मैं आगे पढ़ना चाहती हूं. नौकरी करना चाहती हूं पर सास और देवर साफ मना कर देते हैं कि उन की बहूबेटियां घर से बाहर नहीं जातीं.

घर की चारदीवारी में मेरा दम घुटता है. मैं मायके भी नहीं जा सकती. पति को अपनी समस्या बताती हूं तो वे अपनी बेबसी बता देते हैं. अपने घर वालों के खिलाफ जाना तो दूर कभी मेरी ओर से बात भी नहीं करते. कई बार तो इतना गुस्सा आता है कि मन करता है कि घर से भाग जाऊं या तलाक दे दूं. बताएं मैं क्या करूं?

जवाब 

अभी आप की बच्ची छोटी है इसलिए 1-2 साल ससुराल में रहने से उस की अच्छे से परवरिश हो जाएगी. उस के बाद आप पति को उन के साथ रहने के लिए मना सकती हैं. यदि वे आप की बात नहीं सुनते तो आप के घर वाले आप के पति और उन के परिवार वालों को समझा सकते हैं कि वे आप को पति के साथ रहने की अनुमति दे दें. इस से पति को भी सुविधा रहेगी.

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