ये टिप्स अपनाइए और अपनी सेक्स लाइफ को बनाए पहले जैसा खुशहाल

कई बार पतिपत्नी के बीच प्यार में कोई कमी नहीं होती है, फिर भी उन के बीच सेक्स को ले कर समस्या खड़ी हो जाती है. विवाह के शुरू के बरसों में पतिपत्नी के बीच सेक्स संबंधों में जो गरमाहट होती है, वह धीरेधीरे कम हो जाती है. घरेलू जिम्मेदारियां बढ़ने के कारण सेक्स को ले कर उदासीनता आ जाती है. इस की वजह से आपस में दूरी बढ़ने लगती है.

इस समस्या से बाहर आने के लिए पतिपत्नी को एकदूसरे से अपने सेक्स अनुभव शेयर करने चाहिए. अपनी सेक्स अपेक्षाओं पर खुल कर बात करनी चाहिए. इस के अलावा उन कारणों को भी ढूंढ़ें जिन की वजह से साथी सेक्स में रुचि नहीं लेता, फिर उन्हें दूर करने की कोशिश करें. ये कारण हर कपल के अलगअलग होंगे. आप को बस उन्हें दूर करना है, तब आप की सेक्स लाइफ फिर से पहले जैसी खुशहाल हो जाएगी.

1. यह भी एक कारण

उम्र बढ़ने के साथसाथ एक स्त्री कामक्रीड़ा में पहले जैसी दिलचस्पी क्यों नहीं लेती है? अमेरिका में चिकित्सकों और शोधकर्ताओं की पूरी टीम इस सवाल का जवाब ढूंढ़ने में जुट गई. इस में एक अहम जानकारी सामने आई, जो निश्चित तौर पर एक स्त्री की सेक्स संबंधी दिलचस्पी की पड़ताल करती है. दरअसल, यह सवाल स्त्री की उम्र और सेक्स के रिश्ते से जुड़ा है. कई लोग मानते हैं कि स्त्री की उम्र उस की सेक्स संबंधी दिलचस्पी पर काफी असर डालती है. यह माना जाता है कि उम्र बढ़ने के साथसाथ एक स्त्री कामक्रीड़ा में पहले जैसी दिलचस्पी नहीं लेती.

हालांकि शोध से यह बात साफ हो गई कि मध्य आयुवर्ग की महिलाओं में संभोग के प्रति दिलचस्पी होना अथवा न होना सिर्फ बढ़ती उम्र पर निर्भर नहीं करता. यह इस बात पर निर्भर करता है कि उन के लाइफपार्टनर का स्वास्थ्य कैसा है? और सेक्स संबंधी गतिविधियों में वे कितनी रुचि लेते हैं.

2. भावनात्मक कारण

आम धारणा के विपरीत शोध में यह पाया गया कि मध्य आयु में भी महिलाएं न सिर्फ सैक्सुअली सक्रिय होती हैं, बल्कि कई मामलों में उन की दिलचस्पी बढ़ती हुई नजर आई. शोध के दौरान जब यह जानने की कोशिश की गई कि जो महिलाएं सेक्स में सक्रिय नहीं हैं उस के पीछे क्या वजह है तो पता चला कि कई भावनात्मक कारणों से उन की सेक्स और अपने पार्टनर में दिलचस्पी खत्म हो चुकी होती है. पार्टनर में दिलचस्पी घटना या किसी प्रकार की अक्षमता का सीधा असर महिलाओं की यौन सक्रियता पर पड़ता है. ऐसी भी महिलाएं हैं, जिन की सेक्स में दिलचस्पी खत्म होने की और भी वजहें हैं. मगर उन की संख्या कम है.

3. उम्र से नहीं है कोई संबंध

इस शोध में मध्य आयुवर्ग की सेक्स संबंधी हर दिलचस्पी को शामिल किया गया था, जिस में हस्तमैथुन भी शामिल था. शोध के दौरान महिलाओं का एक बड़ा वर्ग सैक्सुअल ऐक्टिविटीज में उम्र बढ़ने के साथ ज्यादा सक्रिय होता पाया गया. शोध से यह स्पष्ट सामने आया कि किसी भी स्त्री की सेक्स संबंधी सक्रियता का उस की उम्र से कोई सीधा संबंध नहीं है. इस आधार पर मनोवैज्ञानिकों और सेक्स सलाहकारों ने कुछ कारण और सुझाव भी रखे:

– ध्यान दें कि आप का पार्टनर किसी दवा के साइड इफैक्ट की वजह से भी सेक्स में दिलचस्पी खो सकता है. यदि ऐसा है तो डाक्टर से सलाह लें.

– कई महिलाएं मानसिक दबाव के चलते भी सेक्स में रुचि नहीं लेतीं.

– बच्चों में ज्यादा व्यस्त हो जाने और सामाजिक मान्यताओं के चलते महिलाओं को लगता

है कि सेक्स में बहुत दिलचस्पी लेना उचित नहीं है.

– कई बार बच्चों के हो जाने के बाद महिलाएं अपने शरीर को ले कर असहज हो जाती हैं और हीनभावना का शिकार हो जाती हैं. इस के चलते भी वे सेक्स से जी चुराने लगती हैं.

– बढ़ती उम्र में घरपरिवार और कामकाज की बढ़ती जिम्मेदारियों के कारण वे थकने लगती हैं और सेक्स के लिए उन में पर्याप्त ऐनर्जी नहीं बचती.

– कई महिलाएं अपने पति के साथ एकांत चाहती हैं और ऐसा न होने पर सेक्स के प्रति उन की रुचि घटने लगती है.

– अगर पतिपत्नी के बीच तनाव रहता है और रिश्ता आपस में सही नहीं है तो इस से भी सेक्स लाइफ पर विपरीत असर पड़ता है.

गाइनोकोलौजिस्ट, डाक्टर अंजली वैश के अनुसार कुछ बीमारियां भी होती हैं, जिन की वजह से सेक्स में रुचि कम हो जाती है. ड्रग्स, शराब, धूम्रपान का सेवन करने से भी सेक्स में रुचि कम हो जाती है, डाइबिटीज की बीमारी भी महिलाओं में सेक्स ड्राइव को घटाती है, गर्भावस्था के दौरान और उस के बाद हारमोन चेंज के कारण सेक्स में महिला कम रुचि लेती है, अगर डिप्रैशन की समस्या हो तो हर समय अवसाद में डूबी रहती हैं. वे ऊटपटांग बातें सोचने में ही अपनी सारी ऐनर्जी लगा देती हैं. सेक्स के बारे में सोचने का टाइम ही नहीं मिलता है.

कई महिलाएं बहुत मोटी हो जाती हैं. मोटापे के कारण सेक्स करने में उन्हें काफी दिक्कत होती है. अत: वे सेक्स से बचने लगती हैं.

4. दवा भी कम जिम्मेदार नहीं

मनोवैज्ञानिकों के अनुसार, कई ऐसी दवाएं हैं जिन से सेक्स लाइफ पर असर पड़ता है. सेक्स के लिए जरूरी हारमोंस शरीर की जरूरत व संदेशों को मस्तिष्क तक पहुंचाने वाले तत्त्व डोपामाइन व सैरोटोनिन और सेक्स अंगों के बीच तालमेल बहुत जरूरी होता है. डोपामाइन सेक्स क्रिया को बढ़ाता है और सैरोटोनिन उसे कम करता है. जब दवाएं इन हारमोंस के स्तर में बदलाव लाती हैं तो कामेच्छा में कमी आती है. पेनकिलर, अस्थमा, अल्सर की दवा, हाई ब्लडप्रैशर और हारमोन संबंधी दवा से कामेच्छा में कमी हो सकती है.

मगर यह जरूरी नहीं कि आप की सेक्स लाइफ में अरुचि सिर्फ दवा की वजह से ही हो. इसलिए अगर आप को अपनी सेक्स लाइफ में बदलाव महसूस हो रहा है, तो दवा बंद करने से पहले चिकित्सक की सलाह जरूर लें.

5. सेक्स में रुचि कैसे पैदा करें

सेक्स में जरूरी है मसाज: जब आप पार्टनर के नाजुक अंगों पर हाथों से हौलेहौले तेल लगा कर मसाज करेंगे तो यह उस के लिए बिलकुल नया अनुभव होगा. तेल आप के और पार्टनर के बीच जो घर्षण पैदा करता है उस से प्यार में बढ़ोतरी होती है और सेक्स की इच्छा जाग उठती है. मसाज एक ऐसी थेरैपी है, जिस से न सिर्फ शरीर को आराम मिलता है, बल्कि अपनी बोरिंग सेक्स लाइफ को भी फिर से पहले जैसी बना सकती हैं.

ऐक्सपैरिमैंट कर सकते हैं: अगर आप का पार्टनर सैक्सुअल ऐक्सपैरिमैंट नहीं करता है या ऐक्सपैरिमैंट करने से बचता है तो फेंटैसी की दुनिया में आप का स्वागत है. अगर आप सेक्स के बारे में अच्छी फेंटैसी कर सकती हैं तो अपने बैडरूम से बाहर निकले बिना आप अपने पार्टनर के साथ जंगल में मंगल कर सकती हैं. आप अपने पार्टनर के साथ जो चाहती हैं उसे फेंटैसी के जरीए महसूस करिए. आप की अपने पार्टनर से सारी शिकायतें दूर हो जाएंगी, क्योंकि आप का पार्टनर आप को खयालों में जो मिल गया है.

बारबार हनीमून मनाएं: सेक्स संबंधों में बोरियत न हो, इस के लिए पतिपत्नी को चाहिए कि हर साल वे हनीमून पर जाएं और इसे वे आपस में घूमने जाना न कह कर हनीमून पर जाना कहें. इस से उन के बीच ऐक्साइटमैंट बना रहता है. जब हनीमून पर जाएं तो एकदूसरे को वहां पहली बार बिताए लमहे याद दिलाएं. इस तरह घूमने और हनीमून के बारे में बात करने पर सेक्स संबंधों की याददाश्त ताजा हो जाएगी.

सेक्स में नयापन लाएं: कहीं ऐसा तो नहीं कि आप के सेक्स करने का एक ही तरीका हो और उस तरीके से आप की पत्नी बोर हो गई हो? अत: उस से इस विषय पर बात करें और सेक्स करने के परंपरागत तरीके छोड़ कर नएनए तरीके अपनाएं. इस से सेक्स संबंधों में एक नयापन आ जाएगा.

अपने साथी को समय दें: शादी के कुछ सालों बाद कुछ जोड़ों को लगता है कि सहवास में उन की रुचि कम होती जा रही है. सहवास उन्हें एक डेली रूटीन जैसा उबाऊ कार्य लगता है. इसलिए सहवास को डेली रूटीन की तरह न लें, बल्कि उसे पूरी तरह ऐंजौय करें. रोज करने के बजाय हफ्ते में भले ही 1 बार करें लेकिन उसे खुल कर जीएं और अपने पार्टनर को एहसास दिलाएं कि ऐसा करना और उस के साथ होना आप के लिए कितना खास है.

सेक्स ऐसा जिसे दोनों ऐंजौय करें: सिर्फ आप अपने मन की बात ही पार्टनर पर न थोपते रहें, बल्कि सेक्स में उस की इच्छा भी जानें और उस का सम्मान करें. जिन तरीकों में आप दोनों कंफर्टेबल हों और ऐंजौय कर सकें, उन्हें अपनाएं.

नियमित करें सेक्स: यह सच है कि तनाव और थकान का पतिपत्नी के यौन जीवन पर बुरा असर पड़ता है. मगर वहीं यह भी सच है कि सेक्स ही आप के जीवन में पैदा होने वाले दबावों और परेशानियों से जूझने का टौनिक बनता है. इसलिए कोशिश करें कि सप्ताह में कम से कम 3 बार संबंध जरूर बनाएं. इस से सेक्स लाइफ में मधुरता बनी रहेगी.

एकदूसरे के प्रति प्यार को बढ़ावा दें : अधिकतर जोड़ों के शादी के बाद कुछ सालों तक संबंध अच्छे रहते हैं, लेकिन जैसेजैसे समय बीतता जाता है वैसे काम व अन्य कारणों से उन के बीच दूरी बढ़ती जाती है, जिस से उन्हें आपस में प्यार करने का मौका नहीं मिलता. इस से उन के बीच सेक्स संबंधों में खटास आने लगती है. वैवाहिक जीवन में उत्पन्न हुई इस तरह की समस्याओं से बचने के लिए आवश्यक है कि पतिपत्नी आपस में बातचीत करने के लिए कुछ समय निकालें. एकदूसरे से अच्छी बातें करें और एकदूसरे की बातों को सुनें, शिकायतों को दूर करने की कोशिश करें. एकदूसरे का सम्मान करें, इस से सेक्स लाइफ भी काफी बेहतर होगी.

पहल करें: अकसर महिलाएं सेक्स के लिए पहल करने में हिचकिचाती हैं, इसलिए आप द्वारा पहल करने में कोई बुराई नहीं है, बल्कि आप का पहल करना महिला को सुखद एहसास में डुबो देता है. यदि बच्चे छोटे हैं तो सेक्स लाइफ में मुश्किलें तो आती ही हैं और महिलाएं इतनी खुली व रिलैक्स भी नहीं रह पातीं. ऐसे में बच्चों के सोने का इंतजार करने से अच्छा है कि जब मौका मिले प्यार में खो जाएं.

फिटनैस का भी खयाल रखें: अच्छी सेक्स लाइफ के लिए शारीरिक व मानसिक रूप से फिट रहना भी जरूरी है. इस के लिए बैलेंस्ड डाइट लें. थोड़ीबहुत ऐक्सरसाइज करें. भरपूर नींद लें. सिगरेट, शराब का सेवन न करें.

कल्पना करें: अगर आप को सेक्स करते समय किसी और पुरुष की या फिर किसी बौलीवुड ऐक्टर आदि की कल्पना उत्तेजित करती है और सेक्स का आनंद बढ़ाती है तो ऐसा करें. इस के लिए मन में किसी तरह का अपराधबोध न आने दें. ऐसा करना गलत नहीं है क्योंकि सब का सेक्स करने और उस के बारे में सोचने का तरीका अलग होता है.

फ्रैश मूड में आनंद उठाएं: अगर पतिपत्नी दोनों वर्किंग हैं, व्यस्त हैं, रात को देर से आते हैं, तो उन की सेक्स लाइफ न के बराबर होती है और महिला ऐसे में इसे बोझ की तरह लेती है. इसलिए अगर वह थकी हुई है तो जबरदस्ती न करें. सुबह उठ कर फ्रैश मूड में सेक्स का आनंद उठाएं.

गंदी बातें अच्छी हैं: सेक्स के लिए मूड बनाने के लिए कुछ भी किया जा सकता है.

आप को लगता है कि कहीं आप की डर्टी टौक्स और डार्क फेंटैसी सुन कर पार्टनर का मूड न बिगड़ जाए, इसलिए आप चाहते हुए भी उन से यह सब शेयर नहीं करते हैं तो जान लें कि ऐसा नहीं है. सच तो यह है कि हर लड़की अपने पार्टनर से ऐसी बातें सुनने के लिए बेकरार रहती है. इसलिए बेझिझक उन से ऐसी बातें करें. जैसे ही आप की बातें शुरू होंगी उन की बेचैनी भी बढ़ती जाएगी.

6. सेक्स लाइफ का अंत नहीं है बच्चे का आना

अगर आप का मानना है कि बच्चे के आने के बाद सेक्स लाइफ खत्म हो जाती है तो जरा रुकिए. दुनिया भर में हो रही स्टडी के मुताबिक मां बनने के कुछ समय बाद कामेच्छा स्वाभाविक रूप से लौट आती है. आमतौर पर बच्चे के जन्म के 6 हफ्ते बाद डाक्टर महिलाओं को सेक्स संबंध बनाने की इजाजत दे देते हैं. लेकिन इतने समय में भी सब महिलाएं सहज नहीं हो पातीं. कई महिलाओं की सेक्स संबंध इच्छा को लौटने में साल भर तक का समय लग जाता है. शुरू में अंतरंग पलों के लिए समय निकालना मुश्किल होता है. लेकिन धीरेधीरे गाड़ी ट्रैक पर लौटने लगती है, इसलिए बच्चे का होना सेक्स पर पूर्णविराम नहीं है, बल्कि एक नई शुरुआत है.

रिसर्च बताती है कि बच्चों के जन्म के बाद क्लाइमैक्स की तीव्रता बढ़ जाती है. इस का कारण है नर्व एंडिंग का ज्यादा सैंसिटिव होना.

7. बनाएं पत्नी का मूड ऐसे

– महिलाओं की पीठ काफी सेंसिटिव होती है. थोड़ा सा अंधेरा कीजिए, म्यूजिक प्ले कीजिए और पत्नी की पीठ पर हौलेहौले हाथ फिराते हुए मसाज कीजिए. फिर आगे का जादू खुद ही चल जाएगा.

– पार्टनर के कानों से खेलिए और हौले से कुछ कहिए. एकदम से यह न कहें कि आप का करने का मन है.

– गले में गुदगुदी कीजिए. देखिएगा कुछ ही देर में पत्नी आंहें भर रही होगी.

– फुट मसाज दीजिए. पत्नी के पैरों को सहलाते हुए बताएं कि आप उन से कितना प्यार करते हैं. बस वह एकदम से आप को बांहों में भर लेगी और उस के लिए पत्नी का तुरंत मूड बन जाएगा.

कहीं आप भी तो नहीं करते उन खास पलों में ये गलतियां

सेक्स कोई ऐसी चीज नहीं जिसके लिए मैन्यूअल बनाया जाए, लेकिन हां इसमें कुछ ऐसी चीजें जरूर होती हैं जिनसे बचा जाना चाहिए. अकसर लोग सेक्स के दौरान कुछ गलतियां करते हैं, जिनसे बचकर सेक्स के अनुभव को और भी यादगार बनाया जा सकता है. आइए जानें कुछ ऐसी गलतियां जो लोग अकसर बिस्तर पर करते हैं.

1. फोरप्ले ना करना  

इंटरकोर्स से पहले फोरप्ले ना करने की गलती सबसे ज्यादा की जाती है. अकसर पुरुष उत्तेजित होकर सीधा इंटरकोर्स करने लगते हैं जिसके कारण महिला साथी को काफी परेशानी होती है.

2. साथी का मूड ना पूछना

एक बिजी दिन के बाद हो सकता है आपके साथी का मन सेक्स का ना हो या हो सकता है आपकी महिला साथी पीरियड के दर्द से गुजर रही हो ऐसे में सेक्स के बारे में सोचना उनके लिए मुश्किल होता है. जबरन सेक्स करना महिला के मानसिक और शारीरिक दोनों रूप से कष्टदायक होता है. उनकी इच्छाओं का सम्मान करना चाहिए. (यह बात पुरुषों पर भी लागू होती है)

3. चुपचाप रहना

सेक्स के दौरान की जाने वाली कुछ बेहद आम गलतियों में से एक है चुप रहना. माना कि उन हसीन लम्हों में कुछ बोलना मुश्किल होता है लेकिन चुप रहना या कोई रिस्पोंस ना देना संबंधों को नुकसान पहुंचा सकता है. सेक्स के दौरान अगर आप अपने साथी का साथ दें तो उन लम्हों का आनंद और भी ज्यादा उठाया जा सकता है.

4. नए प्रयोग से इंकार

यह गलती अकसर शादी-शुदा कपल्स के साथ आती है. शादी के बाद लोग सेक्स को एक मजबूरी मान बैठते हैं जो ऐसे में वह क्रिएटिव होने से दूर भागते हैं. अगर आप मानते हैं कि आपको यह काम करना ही है तो क्यों ना उसे करने के दूसरे तरीकों को आजमाएं जाएं?

5. शर्माना और खुलकर इच्छाओं को ना बताना

शर्माना और अपनी इच्छाओं को जाहिर ना करना एक और बड़ी गलती है जो सेक्स के दौरान लोग अमूमन करते हैं. ऐसा कर आप सिर्फ अपने रोमांच को ही कम करते हैं. अगर आपको किसी खास बॉडी पार्ट पर सहलाना या किस करना पसंद है तो इसे अपने साथी को अवश्य बताएं. यह आपको जल्दी ऑर्गेज्म तक पहुंचने में मदद कर सकता है.

6. इधर-उधर की बातें

सेक्स के दौरान इधर-उधर की बातें करना एक और ऐसी चीज है जो महिलाओं से हो जाती है. सेक्स के दौरान यहां-वहां या रोजमर्रा की बातें पुरुष साथी के मूड को खराब कर देती हैं.

7. सेक्स के बाद सीधे सो जाना

सेक्स के बाद सीधे सो जाना तो जैसे शादीशुदा जोड़ों द्वारा की जाने वाली सबसे बड़ी गलती है जिससे बचना चाहिए. सेक्स के बाद सीधे सो जाना या बिस्तर से उठ जाना साथी को एक गलत संदेश देता है. कोशिश करनी चाहिए कि सेक्स के बाद साथी के साथ कुछ देर बिताएं और अपने जज्बात उसके सामने रखें.

8. उपरोक्त गलतियों के अलावा सेक्स के दौरान की जाने कुछ अन्य गलतियां निम्न हैं:

* प्राइवेट पार्ट्स को स्पर्श करने से कतराना

* अपना पूरा वजन साथी पर लाद देना

* क्लाइमैक्स काफी जल्द या काफी देर से आना

* क्लाइमैक्स से पहले साथी को ना बताना

अगर आप भी करते हैं सेक्स करना अवौएड, तो सकते हैं ये नुकसान

हमारे देश में सेक्स को ले कर इतनी हायतोबा मचाई जाती है मानो इस की बात करने पर प्रतिबंध हो. पोंगापंथी और धर्म के ठेकेदार सेक्स को गंदा काम बताते फिरते हैं. यह अलग बात है कि कई मुल्लामौलवी, बाबा और पादरी सैक्सुअल हैरासमैंट और रेप के मामलों में पकड़े जा चुके हैं.

सच यह है कि सेक्स एक शारीरिक जरूरत है, जो बेहद स्वाभाविक और प्राकृतिक है. लेकिन धर्म के ठेकेदारों द्वारा फैलाई गई भ्रांतियों और नकली बाबाओं द्वारा दिए गए उलटेसीधे प्रवचनों से प्रभावित हो कर भारतीय महिलाएं सेक्स को एक अधार्मिक क्रिया समझने लगती हैं और खुलेमन से इस का आनंद उठाने के बजाय इस से कतराने लगती हैं.

पति के लाख मनाने और समझाने के बावजूद वे उस का साथ देने और सेक्स का आनंद उठाने के लिए तैयार नहीं होतीं. कभी व्रतत्योहार का बहाना बना कर, तो कभी तबीयत खराब होने का बहाना बना कर ये महिलाएं ‘अपवित्र’ होने से बचती रहती हैं. लेकिन चिकित्सक, मनोविज्ञानी, व्यवहार विशेषज्ञ और समाजशास्त्री इस प्रवृत्ति को तन और मन की सेहत के लिए नुकसानदायक मानते हैं.

पीरियड्स में बढ़ सकता है दर्द : आमतौर पर महिलाओं के मैन्सट्रुअल साइकिल के दौरान पेट के निचले हिस्से में दर्द होता है. लेकिन जो महिलाएं सैक्सुअल लाइफ को एंजौय नहीं करतीं उन में यह दर्द ज्यादा हो सकता है.

सेक्स ऐक्सपर्ट डा. लारेज स्ट्रीचर का कहना है कि पीरियड्स के दौरान सेक्स करने से मैन्स्ट्रुअल क्रैंप में काफी कमी आ सकती है. यूट्रस एक मांसपेशी है जिस में सेक्स और्गेज्म के दौरान सिकुड़न होती है. इस से रक्तस्राव बेहद आसानी से हो जाता है और स्राव के समय होने वाले दर्द से महिलाओं को काफी हद तक छुटकारा मिल सकता है. इस के साथ ही, यौन आनंद से एंडौर्फिन का स्राव होता है जो दर्द को कम करने में सहायक होता है.

वैजाइना की दीवार हो सकती है कमजोर : सेक्स थेरैपिस्ट सारी कूपर बताती हैं, ‘‘खुद को सेक्स से वंचित रखने वाली महिलाओं में वैजाइना की वाल धीरेधीरे कमजोर यानी पतली होने लगती है. विशेषरूप से मीनोपौज की उम्र में पहुंच चुकी महिलाएं जब सेक्स से दूरी बढ़ाती हैं तो उन में यह समस्या अधिक होती है.’’

वे कहती हैं, ‘‘नियमित सेक्स करते रहने से वैजाइना की वाल लचीली रहती है और ज्यादा दर्द महसूस नहीं होता जबकि कभीकभी सेक्स करने में यह दर्द काफी ज्यादा महसूस हो सकता है. नौर्थ अमेरिकन मीनोपौज सोसायटी ने भी मीनोपौज के दौर से गुजरने वाली महिलाओं को नियमित पैनेट्रेटिव सेक्स करने की सलाह दी है.

बढ़ सकता है स्ट्रैस : जगजाहिर है कि सेक्स से तन और मन में आनंद की अनुभूति होती है. इस से दिमाग में खुशी के हार्मोन एंडौर्फिन व औक्सीटोसीन उत्सर्जित होते हैं. स्कौटलैंड के शोधकर्ताओं ने पाया है कि  सेक्स से दूर रहने वाले लोेग पब्लिक स्पीकिंग या ऐसी दूसरी स्टै्रसफुल सिचुएशन को आसानी से हैंडल नहीं कर पाते, जबकि महीने में कम से कम 2 बार सेक्स करने वाले लोग इस में आसानी महसूस करते हैं. नियमित सेक्स करने की आदत को हैल्थ ऐक्सपर्ट स्ट्रैस बस्टर मानते हैं, सेक्स न करने वाले लोगों का ब्लडप्रैशर स्ट्रैस की सिचुएशन में काफी बढ़ जाता है.

पुरुषों में बढ़ सकती है प्रोस्टैट कैंसर की संभावना : हैल्थ ऐक्सपर्ट का मानना है कि जो पुरुष नियमित रूप से सेक्स नहीं करते उन में प्रोस्टैट कैंसर की संभावना बढ़ सकती है. सेक्स करने से प्रोस्टैट को सुरक्षा देने वाले कैमिकल्स रिलीज होते हैं. अमेरिकन यूरोलौजिकल एसोसिएशन द्वारा किए गए अध्ययन में पाया गया है कि नियमित रूप से यौनसंबंध बनाने वाले पुरुषों में प्रोस्टैट कैंसर होने की संभावना 20 फीसदी तक कम हो जाती है क्योंकि समयसमय पर वीर्य स्खलन होने से प्रोस्टैट में मौजूद हानिकारक तत्त्व शरीर से बाहर निकल जाते हैं.

संबंधों के प्रति आ सकता है असुरक्षा का भाव : जिन पतिपत्नी में सैक्सुअल संबंध लगभग खत्म हो जाते हैं उन में आपसी नजदीकी, माधुर्य और अपनापन भी कम होने लगता है. साथ ही, पति और पत्नी के मन में एकदूसरे के प्रति अविश्वास की भावना भी आ सकती है जिस से रिलेशनशिप में इनसिक्योरिटी का भाव आता है.

‘सेविंग योर मैरिज बिफोर इट स्टार्ट्स’ की लेखिका एवं मनोविज्ञानी लेस पैरोट कहती हैं, ‘‘सेक्स न करने से शरीर में औक्सीटोसिन व दूसरे बौंडिंग हार्मोन का लैवल कम होने लगता है. पति और पत्नी के मन में अपराधबोध की भावना आती है, सैल्फ एस्टीम में कमी आती है. साथ ही, मन में हमेशा संदेह रहता है कि कहीं आप अपनी सेक्स की जरूरत के लिए किसी दूसरे के संपर्क में तो नहीं. हालांकि, इस का मतलब यह बिलकुल नहीं है कि बिना सेक्स के पतिपत्नी खुश रह ही नहीं सकते. उन्हें आपस में चुंबन लेना, हाथ पकड़ना, एकदूसरे को सहलाना आदि जारी रखने चाहिए.

बढ़ता है सर्दीजुकाम का खतरा : पैनसिलवानिया की विलकेस बौरे यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञों ने अपने शोध में पाया कि जो लोग हफ्ते में एक या दो बार सेक्स करते हैं, उन में एंटीबौडीज का उत्पादन 30 फीसदी तक बढ़ जाता है. ये एंटीबौडीज तरहतरह के वायरस आदि के खिलाफ लड़ने में हमारे शरीर के डिफैंस सिस्टम की मदद करते हैं. सेक्स को इम्यूनिटी सिस्टम इंप्रूव करने वाला भी माना गया है.

यौनेच्छा में कमी आने लगती है : जब आप सेक्स से कतराने लगते हैं या इस की आदत धीरेधीरे छूटती जाती है तो आप की यौनेच्छा खुदबखुद कम होने लगती है. सेक्स थेरैपिस्ट सारी कूपर कहती हैं, ‘‘एक वक्त ऐसा आता है जब आप सेक्स करना चाह कर भी सेक्स नहीं कर पाते. सेक्स शारीरिक प्रक्रिया से ज्यादा एक मानसिक प्रक्रिया है. आदत छूटने या नियमित इस का उपभोग न करने पर आप का मन सेक्स के लिए तैयार नहीं हो पाता. जब तक मन तैयार नहीं होता, तो तन का साथ देने का सवाल ही नही.

पुरुषों में इरैक्टाइल डिसफंक्शन : उपरोक्त कारण की वजह से पुरुषों में यौनांग सेक्स के लिए तैयार नहीं हो पाता, यानी यौनांग में कठोरता नहीं आ पाती जिसे हैल्थ ऐक्सपर्ट इरैक्टाइल डिसफंक्शन कहते हैं.

अमेरिकी मैडिकल जर्नल में प्रकाशित एक रिपोर्ट में बताया गया है कि पुरुषों का यौनांग एक मांसपेशी है. जैसे हमारे शरीर की अन्य मांसपेशियों को नियमित ऐक्सरसाइज की जरूरत है, ठीक उसी तरह इस का भी नियमित इस्तेमाल जरूरी है, वरना इस में शिथिलता आने लगती है. कुछ वैज्ञानिकों ने सरल भाषा में इसे ‘यूज इट आर लूज इट’ कह कर समझाया है.

इन चीजों को खाएं और बढ़ाएं अपना सेक्स स्टेमिना

पुरुषों के मन में सेक्स को ले कर कई ख्याल रहते हैं. ऐसी धारणा है कि वो सेक्स को ले कर ज्यादा उत्साही होते है. ये भी कहा जाता है कि पुरुषों में महिलाओं की तुलना में ज्यादा सेक्स की इच्छा होती है. क्या आप जानते हैं कि असल में पुरुष चाहते क्या हैं? पुरुषों की अक्सर ये इच्छा होती है कि वे बिना रुके कई देर तक सेक्स का मजा उठा सकें. और वो अपने पार्टनर से भी चाहते हैं कि वो भी लंबे समय तक सेक्स में उनके साथ बने रहें और लुत्फ उठाएं.

आम तौर पर पुरुषों में सेक्स की टाइमिंग को ले कर शिकायतें होती हैं. कई पुरुष अपनी महिला पार्टनर की तुलना में कम वक्त सेक्स कर पाते हैं. हम बताएंगे कुछ खाद्य पदार्थों और फलों के बारे में जिनसे आपका स्टेमिना बढ़ेगा और आप लंबे समय तक सेक्स कर पाएंगे.

  • चौकलेट: चौकलेट को आपकी सेक्स ड्राइव को बढाने का सबसे अच्छा तरीका माना जाता है. ये अपने आप में एक नेचुरल एंटीऔक्सीडेंट है. जिसकी वजह से शरीर में फिनालेथाइलेमाइन नाम का केमिकल बनाता है. इससे सेक्स करने की इच्छा और क्षमता बढ़ती है और सेक्स परफौर्मेंस का समय भी बढ़ जाता है.
  • संतरा: संतरा शरीर के लिए कई तरह से लाभकारी है. इससे रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है और रोज इसके सेवन से आपकी सेक्स लाइफ भी अच्छी हो जाती है.
  • शतावरी: शतावरी कई तरह के मर्जों में काम आती है. पर सेक्स के लिए ये बेहद प्रभावशाली है. इसे खाने से शरीर में शक्ति तो बढती ही है, साथ ही वीर्य की मात्र में भी बढ़ोतरी होती है.
  • अंडा: अंडा लोग हमेशा खाते हैं पर इसके फायदों को नहीं जानते. दरअसल, अंडा प्रोटीन का महत्वपूर्ण श्रोत है. लेकिन इसके आलावा इसमें मिलनेवाला विटामिन बी-5 और विटामिन बी-6 सेक्स लाइफ के लिए बेहतरीन माने जाते हैं.
  • तरबूज: तरबूज सेक्स लाइफ के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है. इसके अलावा इसे नेचुरल वियाग्रा की तरह भी माना जाता है. क्योंकि  तरबूज में पाए जाने वाले तत्व शरीर के ब्लड वेसल्स पर वियाग्रा जैसा असर करते हैं.

सेक्स के दौरान नारियल तेल का इस्तेमाल कितना सुरक्षित है

कुछ महिलाएं वेजाइनल ड्राइनैस की शिकार होती हैं. जिसकी वजह से उन्हें सेक्स के समय दर्द महसूस होता है. इस तकलीफ भरे अनुभव से बचने के लिए विशेषज्ञ सेक्‍स के समय ल्‍यूब्‍स यानी ल्‍यूब्रिकेंट्स का इस्‍तेमाल करने की सलाह देते हैं. पर ऐसे कुछ नैचुरल ल्यूब्रिकेंट्स है जिनको आप आसानी से खरीद कर इस्तेमाल कर सकती हैं. नारियल तेल भी उन्हीं नैचुरल ल्यूब्रिकेंट्स में से एक है. नारियल तेल अन्‍य वौटर और सिलिकौन बेस्‍ड ल्‍यूब्‍स के तुलना में बेहतर माना जाता है.

आइए जानते हैं वेजाइना की सेंसिटिव स्किन के लिए यह कितना लाभदायक है…

नारियल तेल का इस्तेमाल बालों के सौंदर्य, चेहरे की खूबसूरती, जलने पर और कुकिंग औयल के तौर पर किया जाता रहा है. लेकिन नारियल के तेल को आप ल्यूब्रिकेंट्स की तरह भी इस्तेमाल कर सकती है. अधिकतर महिलाएं ल्यूब्स का इस्तेमाल करने से डरती है. उन्हें लगता है मार्केट में मिलने वाला ल्यूब्रिकेंट्स से उन्हें नुकसान पहुंच सकता है. ऐसे में ल्यूब्रिकेंट्स के तौर पर नारियल तेल का इस्तेमाल करना हानिकारक नहीं है.

इंटरकोर्स में होती है आसानी

ल्यूब्रिकेंट्स एक ऐसा पदार्थ है जिसके इस्तेमाल से इंटरकोर्स काफी आरामदायक बन जाता है. लेकिन बहुत सी महिलाएं ल्यूब्रिकेंट्स खरीदने से पहले बहुत सोचती है कहीं इससे उनको कोई नुकसान तो नहीं पहुंचेगा, प्राइवेट पार्ट पर किसी प्रकार की एलर्जी तो नहीं हो जाएगी. अगर आपके मन में भी यह सभी सवाल है और आप ल्यूब्रिकेंट नहीं खरीदना चाहती तो आप नैचुरल ल्यूब्स यानी नारियल तेल का इस्तेमाल कर सकती है. दरअसल, नारियल तेल ल्यूब्रिकेंट्स की तरह ही सेंसेशन बढ़ाता है और आपकी सेक्स लाइफ को उतना ही मज़ेदार.

कई महिलाएं नारियल तेल इस्तेमाल करने से भी डरती है. आइए जानते है नारियल तेल वेजाइना के लिए कितना सेफ है.

नारियल का तेल एक नैचुरल प्रदार्थ है साथ ही इसमें प्रिजर्वेटिव्स भी नहीं होते, ल्यूबृकेंट्स से यह बहुत सस्ता होता है. इसकी खास बात यह है कि नैचुरल के साथ इसमें एंटीमाइक्रौबियल और एंटीफंगल प्रौपर्टीज भी होती हैं. वौटर और सिलिकौन बेस्ड ल्यूब्स की तुलना में यह गाढ़ा और लौन्ग लास्टिंग होता है. इसमें मौइश्चराइजिंग प्रौपर्टीज भी होती है जो बौडी पार्ट को मौइश्चराइज करने का काम भी करता है.

कब नहीं करना चाहिए नारियल तेल का इस्तेमाल

  • अगर आपको वजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन हो जाता है तो नारियल तेल का इस्तेमाल ल्यूब के तौर पर न करें, इससे आपकी वेजाइना का पीएच बिगड़ सकता है।
  • अगर आप नारियल तेल का इस्तेमाल कर रही है तो लैटेक्स कौन्डम का यूज न करें. दरअसल, तेल के संपर्क में आने से लैटेक्स की खराब होने की संभावना हो जाती है, इससे कौन्डम ब्रेक भी हो जाता है जिससे महिला कि प्रेग्नेंट होने कि संभावना बढ़ जाती है.
  • नारियल तेल का इस्तेमाल सिर्फ पौलियूरेथेन कौन्डम्स के साथ करना चाहिए.
  • यदि आप नारियल तेल का इस्तेमाल कर रही है तो कोशिश करें वर्जिन नारियल तेल हो. यह रिफाइंड नारियल तेल से जादा लाभदायक होता है.

जानिए आखिर कैसे होती है परफेक्ट Kiss

हांगकांग, सिंगापुर, कनाडा, औस्ट्रेलिया, अमेरिका और ब्रिटेन में 10,000 से ज्यादा लोगों के सर्वे से पता चला है कि एक परफेक्ट किस क्या होता है. हर देश में सर्वे के रिजल्ट जरा अलग हैं, लेकिन एक बात तो स्पष्ट है कि जब आप किसी को डेट कर रहे होते हैं तो मिलने और फिर मुलाकीात के बाद किस करना सभी को पसंद आता है. और पहला किस तो दोनों के ही लिये बहुत महत्वपूर्ण और यादगार होता है.

किस का अध्ययन करने वाले philematologists के अनुसार दुनिया में 90 फीसदी लोग किस करते हैं. हम यहां आपको बता रहे हैं कि दस हजार लोगों के अनुसार परफेक्ट किस क्या होता.

1. जरूरी नही कि सब डेट के अंत में किस करना चाहें

हैरानी की बात है कि सर्वे से पता चला है कि हर कोई जरूरी नहीं कि डेट के खत्म होने पर किस करना पसंद करता हो. सिर्फ 41 प्रतिशत लोगों का कहना है कि वे डेट के अंत में किस करना पसंद करेंगे. सर्वे में ये नहीं बताया गया कि बाकी (59%) क्या चाहते हैं. दिलचस्प बात ये है कि डेट खत्म होने पर किस करने वालों का प्रतिशत 50 से कम है.

2. 2 से 5 सैकंड का होता है परफेक्ट किस

सर्वे के अनुसार 61 फीसदी पुरुष और महिलाओं का मानना है कि डेट खत्म होने पर बस 2 से 5 सैकंड का किस ही परफेक्ट होता है. सवाल ये है कि पांच सैकंड में क्या कोई फीलिंग हो सकती है?

3. मुंह से बदबू सबसे बदतर

इससे कोई चौंकेगा नहीं क्योंकि कोई भी नहीं चाहता कि जिसे वह किस कर रहा है उसके मुंह से बदबू आए. 38 फीसदी लोगों का मानना है बदबू से बदतर और कुछ हो नहीं सकता और इनकी शिकायत भी यही है. हमारा सुझाव है कि अगर आप सिगरेट पीते हैं तो डेट पर जाने के पहले नींबू जरूर चूस कर जाएं.

4. किस करना नहीं आता तो कोई बात नहीं रिश्ते नहीं टूटेंगे

हम सभी चाहते हैं कि हमें ऐसा कोई मिले जो बिल्कुल वैसे ही किस करे जैसा हम करते हैं लेकिन ऐसा हमेशा नहीं होता. लेकिन उन लोगों को डरने की जरूरत नहीं है जिन्हें ठीक से किस करना नहीं आता. सर्वे के अनुसार 32 फीसदी पुरुष अपनी महिला को ठीक से किस करना सिखाने में दिलचस्पी रखते हैं जबकि 38 फीसदी महिलाएं अपने पार्टनर को किस सीखने के लिये समय देने को तैयार हैं.

5. लोग सिर्फ होंठों पर ही किस नहीं चाहते

हालंकि होंठ ऐसी जगह है जहां अक़्सर लोग किस करते हैं या चाहते हैं लेकिन सिंगापुर, हांगकांग और ऑस्ट्रेलिया में लोग माथे पर किस करना या करवाना ज्यादा पसंद करते हैं. अमेरिका, कनाडा और ब्रिटेन में गाल पर किस करना, करवाना पसंद किया जाता है.

6. दो तरह से किस करने/करवाने का इशारा

हांगकांग, सिंगापुर, ब्रिटेन और ऑस्ट्रेलिया में अगर कोई किस चाहता है तो वह आंखों में आंखें डालकर देखेगा/देखेगी हालंकि कितनी देर तक देखेगा/देखेगी, ये सर्वे में साफ नही है. अमेरिका और कनाडा में लोग इस मामले में लोग जरा निर्लज्ज होते हैं यानी तपाक से किस.

7. टंग किसिंग

कहते हैं टंग किसिंग फ्रांस की देन है लेकिन ये बस उसी देश में पसंद की जाती है क्योंकि बाकी दुनिया टंग किसिंग की कोई खास दीवानी नहीं है. हांगकांग और सिंगापुर में 44 फीसदी लोगों को लाइट और सहज किस पसंद है, लेकिन हां थोड़ा बहुत टंग का स्पर्श चलेगा. ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, अमेरिका और ब्रिटेन में 46 फीसदी टंग के बगैर डीप किस पसंद करते हैं.

लव बाइट: सेक्स बनाए रोमांचक

लव बाइट सेक्स का वह पल होता है जब आप अपने साथी को रोमांच की दुनिया की सैर करा रहे होते हैं और एकदूसरे के साथ प्रेम के सागर में गोते लगा रहे होते हैं. ऐसे में लव बाइट न सिर्फ आपको बल्कि आपके सेक्स पार्टनर को गजब का अनुभव करा सकता है.

क्या है लव बाइट

अगर आप को लव बाइट के बारे में पता नहीं तो पहले जानिए कि यह है क्या और इसे किस तरह आजमाएं कि आपकी पार्टनर मदहोशी के आगोश में समा जाएं. लव बाइट सेक्स में उतना ही मजेदार अनुभव कराता है जितना चुंबन, सहलाना और एकदूसरे की अंगों की तारीफ करना.

सेक्स पार्टनर के उन जगहों पर जोर से चुंबन या फिर दांतों से हलका हलका दबा कर निशान छोड़ने को लव बाइट कहते हैं. यह आमतौर पर सेक्स इंटिमेट के दौरान किया जाता है. इस में बस इतना ध्यान रखना होता है कि यह पूरी तरह सेफ हो और बिना सहमति के अथवा जोरजबरदस्ती से न हो और जो सेक्स पार्टनर को पसंद न हो.

कहां करें लव बाइट

पार्टनर के साथ इंटिमेट के दौरान गरदन, नितंब, जांघों, पैरों, हाथों, कान के पीछे, होंठों, ब्रैस्ट आदि जगहों पर लव बाइट करना ज्यादा अच्छा होता है. फीमेल सेक्स पार्टनर अपने ब्रैस्ट पर लव बाइट कराना ज्यादा पसंद करती हैं. पर ध्यान रखें कि यह ज्यादा जोर से न किया जाए. इस से आपकी पार्टनर का मूड सेक्स से उचट सकता है.

ध्यान रखें

* लव बाइट फोरप्ले करते समय करें.

* मुंह साफ रखें और लव बाइट करते समय लार न छोड़ें.

* कमर को पकड़ कर अपनी ओर खींचें और वहां लव बाइट दें. इससे सेक्स पार्टनर मदहोश होकर लिपट जाएगी.

* इंटिमेसी के दौरान साथी को फोरप्ले का भरपूर सुख दें और उसके अंगों की तारीफ करें.

* बाहरी जगहों पर लव बाइट देना सही नहीं है. उन जगहों पर करें जो कपड़ों से ढके होते हैं. इससे बाद में उन्हें शर्मिंदगी नहीं होगी.

* नहाते समय, कपड़े बदलते समय लव बाइट को देखना और उसे फील करने का अलग ही आनंद होता है.

*  लव बाइट लंबे समय तक प्यार के पलों को जवां और हसीन बनाए रखता है. पर ध्यान रखें, इस में हाइजीन का खयाल रखें और जबरन लव बाइट कतई न करें.

सेक्स में और्गेज्म होना है आनंद से भरपूर

तनु के विवाह को 6 महीने हो गए थे. वह मायके आई हुई थी. विवाह के बाद अनुभव पूछते हुए उस की हमउम्र भाभी रेखा उस के साथ छेड़छाड़ करने लगी.

तब तनु ने बुझे स्वर में कहा, ‘‘मुझे तो कुछ अच्छा नहीं लगता. सब बोरिंग ही लगता है.’’

सुन कर रेखा हैरान हुई. फिर विस्तार से खुल कर बात करने पर रेखा को महसूस हुआ कि तनु ने अब तक चरमसुख का आनंद लिया ही नहीं है. सैक्स उसे एक रूटीन की तरह लग रहा है कि बस, पति का साथ देना, चाहे अच्छा लगे या बुरा.

रेखा अपनी एक रिश्तेदार डाक्टर मीनाक्षी से बात कर तनु को उन के पास ले गई. दोनों को अकेले छोड़ वहां से हट गई. डाक्टर ने बातोंबातों में उसे और्गेज्म के बारे में समझाया तो तनु झिझकती हुई सब बातें सुनतीसमझती रही. अगली बार मायके आने पर जब उस का खिला, चमकता चेहरा देख रेखा ने फिर आंखों ही आंखों में शरारती सवाल पूछा तो तनु शरमा कर हंस दी. तब रेखा को तसल्ली हो गई कि अब उस की ननद शारीरिक और मानसिक रूप से वैवाहिक जीवन का पूरापूरा आनंद ले रही है.

सेक्स की हमारे जीवन में महत्त्वपूर्ण भूमिका है. विशेष रूप से महिलाएं स्वयं को बहलाती हैं कि मजबूत रिश्ते के लिए अच्छा सैक्स जरूरी नहीं है. उन के लिए यह पार्टनर से जुड़े रहने के लिए ही है.

25 वर्षीय कविता का कहना है, ‘‘मेरा पार्टनर आसानी से उत्तेजित हो जाता था, जबकि मेरा मूड बनने में काफी समय लगता था. मैं उसी के लिए सैक्स करती थी. हर बार मुझे खाली और अधूरा लगता था.’’

फोरप्ले के महत्त्व के बारे में बताते हुए कंसल्टैंट मनोवैज्ञानिक हेल्थेनबेर इंडिया से अदिति आचार्य का कहना है, ‘‘जहां 90% पुरुष शारीरिक संबंध में चरमसुख का अनुभव करते हैं वहीं 30% महिलाओं ने अपने जीवन में चरमसुख का अनुभव कभी किया ही नहीं है. एक महिला को मानसिक रूप से इस खेल में शामिल होने में समय लगता है. 15 से 40 मिनट लगते हैं.’’

फुट स्पा, बौडी मसाज से यौवन, सौंदर्य वृद्धि होती है पर यह सब करवाना रोज तो

संभव नहीं हो सकता न? ‘द और्गेज्म आंसर गाइड’ में मनोवैज्ञानिक कैरल रिंकलेव एलिसन के द्वारा किए गए अध्ययन में एलिसन ने 23 से 90 साल उम्र की 2,632 महिलाओं का इंटरव्यू लिया था, जिस में पता चला था कि इन में से 39% ने ही स्वयं को रिलैक्स करने के लिए इस का आनंद उठाया है. विशेषज्ञ इस का श्रेय औक्सिटोसिन हारमोन को देते हैं. मनोवैज्ञानिक और सैक्सोलौजिस्ट डा. श्याम मिथिया बताते हैं, ‘‘जब एक महिला उत्तेजित होती है, तो औक्सीटोसिन नामक फीलगुड हारमोन हाइपोथेलेमस में नर्व्स सैल्स से खून में प्रवाहित होता है. औक्सीटोसिन न सिर्फ तनाव कम करता है, बल्कि जोश और आराम की भावना भी उत्पन्न करता है. यह रिश्ते को मजबूत करता है.’’

बिग 0 (चरमसुख) से शरीर को लाभ ही लाभ है. इस से यौनांगों में बेहतर रक्तप्रवाह होता है, शरीर को प्राकृतिक डिटौक्सीफिकेशन होता है, संतानोत्पत्ति की क्षमता बढ़ती है, याद्दाश्त सुधरती है, रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, स्वस्थ ऐस्ट्रोजन हारमोन का स्तर बढ़ता है. यह औस्टियोपोरोसिस, हृदयरोग और स्तन कैंसर से भी सुरक्षा करता है.

37 वर्षीय अध्यापिका कविता गोयल कहती हैं, ‘‘चाहे दिन कितना भी खराब बीते, मैं और मेरे पति लगभग प्रतिदिन अच्छे सैक्स का आनंद उठा कर ही सोते हैं. यह एक ऐस्प्रिन खाने से तो अच्छा ही है और जब आप हर सुबह चेहरे की प्राकृतिक चमक के साथ उठें तो मेकअप की भी क्या जरूरत है.’’

चरमसुख के दौरान उत्पन्न होने वाले ऐंडोर्फिंस हारमोन सिरदर्द, मासिक उथलपुथल, आर्थ्राइटिस के लिए दर्दनिवारक का काम करते हैं.

आप ने कभी सफल, आनंददायक सैक्स के बाद अपने चेहरे की चमक देखी है? उस का श्रेय डीएनईए को जाता है. यह हारमोन त्वचा की चमक बढ़ाता है, नष्ट हुए टिशूज की मरम्मत करता है और त्वचा को जवान बनाए रखता है. यह हड्डियों और मांसपेशियों को मजबूत बनाता है. काफी अध्ययनों से यह सिद्ध हुआ है कि जो लोग हफ्ते में कम से कम 3 बार शारीरिक संबंध बनाते हैं वे अपनी उम्र से 10 साल छोटे लगते हैं. सैक्स कोच आनंदिति सेन कहती हैं, ‘‘अरोमाथेरैपी वाली कैंडल्स के बारे में सोचो, लाइट्स हलकी करो, आंखें बंद कर के कल्पना के घोड़ों को दौड़ने दें.’’

फिल्मों में महिलाओं को सैक्सुअल आनंद में ही लीन दिखाया जाता है, जबकि वास्तविकता में 20% महिलाएं ही चरमसुख को पाती हैं. तो क्या अच्छी सैक्स लाइफ न होने से आप का रिश्ता प्रभावित होता है? इस संबंध में फिटनैस ट्रेनर शिवानी जोशी का कहना है, ‘‘बिलकुल. पार्टनर का ध्यान रखना भी बहुत जरूरी है. उसे साफसाफ बताना बहुत जरूरी है कि आप को क्या अच्छा लगता है क्या नहीं.’’

तो सारी चिंताएं, संदेह छोड़ कर पार्टनर के साथ सैक्स का आनंद लें. इसे बोझ नहीं, तनमन के लिए एक औषधि की तरह समझें. इस का अनुभव कर प्राकृतिक रूप से स्वस्थ और सुखी रहें. पुरानी मानसिकता से बाहर निकलें, पार्टनर को अपनी पसंदनापसंद, इच्छाअनिच्छा बताएं और खुल कर जीएं.

ऐसे बनाएं अपनी सेक्स लाइफ सुखद, पढ़ें टिप्स

ऐसा अकसर देखने में आता है कि पतिपत्नी सहवास के दौरान एकदूसरे की इच्छा और भावना को नहीं समझते. वे बस एक खानापूर्ति करते हैं. लेकिन वे यह बात भूल जाते हैं कि खानापूर्ति से सैक्सुअल लाइफ तो प्रभावित होती ही है, पतिपत्नी के संबंधों की गरमाहट भी धीरेधीरे कम होती जाती है. ऐसा न हो इस के लिए प्यार और भावनाओं को नजरअंदाज न करें. अपने दांपत्य जीवन में गरमाहट को बनाए रखने के लिए आगे बताए जा रहे टिप्स को जरूर आजमाएं.

पत्नी की इच्छाओं को समझें

‘‘महिलाओं को अकसर इस बात की शिकायत रहती है कि पति उन की इच्छाओं को बिना समझे सहवास करने लगते हैं. लेकिन ऐसा कर के वे केवल खुद की इच्छापूर्ति करते हैं. पत्नी और्गेज्म तक नहीं पहुंच पाती. आगे चल कर इसी बात को ले कर आपसी संबंधों में कड़वाहट पैदा होती है.

‘‘पति को चाहिए कि सैक्स करने से पहले पत्नी की इच्छा को जाने. उसे सैक्स के लिए तैयार करे. तभी संबंधों में गरमाहट बरकरार रहती है.’’

करें प्यार भरी बातें

एक हैल्दी सैक्सुअल लाइफ के लिए बेहद जरूरी है कि यौन संबंध बनाने से पहले पत्नी से प्यार भरी बातें जरूर की जाएं. कोई समस्या हो तो उस का हल निकालें. पत्नी से बातोंबातों में पता करें कि वह सैक्स में क्या सहयोग, क्या नवीनता चाहती है.

एक अच्छे सहवास सुख के लिए आवश्यक है कि पतिपत्नी आपस में सैक्स के दौरान प्यार भरी बातें करें. यदि ऐसा नहीं हो तो पत्नी को लगता है कि पति को केवल सैक्स की ही भूख है, प्यार की नहीं. इसलिए प्यार भरी बातों को नजरअंदाज न करें.

स्थान व समय को बदलें

सहवास का भरपूर आनंद उठाने के लिए कभी सोफा, कभी फर्श, कभी कालीन तो कभी छत पर और अगर घर में झूला लगा हो तो झूले पर, नहीं तो लौन पर चटाई बिछा कर सैक्स का आनंद लिया जा सकता है. पत्नियां सैक्स को प्यार से जोड़ती हैं. प्यार के इस अनुभव को वे घर के अलगअलग स्थानों पर अलगअलग समय पर नएनए तरीके से करना चाहती हैं. लेकिन अकसर पति यह बात समझ कर भी नहीं समझते.

शुरुआत धीरेधीरे करें

कई पत्नियों की यह शिकायत रहती है कि उन के पति सहवास की शुरुआत धीरेधीरे न कर के उन्हें बिना उत्तेजित किए जल्दीबाजी में करते हैं. जबकि सहवास की शुरुआत धीरेधीरे विभिन्न सैक्स मुद्राओं जैसे गालों को काटना, सैक्स के हिस्सों पर थप्पड़ लगाना आदि को अपना कर ही करनी चाहिए और उस के बाद ही सैक्स सुख का आनंद लेना चाहिए.

फोर प्ले का आनंद उठाएं

पति को चाहिए कि वह पत्नी के साथ चुंबन, आलिंगन, उसे सहलाना, केशों में उंगलियां फेरना, अंगों को स्पर्श करना वगैरह की अहमियत को समझे. ऐसा कर के वह पत्नी को उत्तेजित कर के मानसिक और शारीरिक रूप से सहवास के लिए तैयार करे. पत्नी का और्गेज्म तक पहुंचना जरूरी होता है. और्गेज्म तक नहीं पहुंच पाने के कारण घर में अकसर तनाव का माहौल पैदा हो जाता है, जो आपसी संबंधों में दिक्कतें भी पैदा करता है. एक सर्वे के मुताबिक 55% लोगों का मानना है कि सैक्स के दौरान जो आनंदमयी क्षण आते हैं, उन का अनुभव बेहद महत्त्वपूर्ण है.

बराबर का साथ दें

‘‘सैक्सुअल लाइफ बेहद रोमांटिक तभी बन पाती है, जब पतिपत्नी सैक्स संबंध बनाते समय बराबर का साथ दें. सहवास के दौरान 70% महिलाएं बिस्तर पर चुपचाप ही पड़ी रहती हैं. पुरुष ऐसी महिलाओं को पसंद नहीं करते. सहवास के दौरान बराबर का साथ पति पसंद करते हैं. यदि पत्नी ऐसा करती है तो सैक्स का आनंद और भी ज्यादा बढ़ जाता है.’’

फालतू बातों को तूल न दें

पतिपत्नी जब भी यौन संबंध बनाएं, पत्नी घर की समस्याओं या शिकायतों का पिटारा खोल कर न बैठे. सारिका जब भी रमेश के साथ सहवास करती थी, कोई न कोई शिकायत ले कर बातें शुरू कर देती थी. इस से रमेश असहज हो जाता था. आगे चल कर इन की समस्या इतनी बढ़ गई कि इन्हें आपसी संबंधों को सहज बनाने के लिए मैरिज काउंसलर की सहायता लेनी पड़ी.

संबंधों में गरमाहट बनी रहे इस के लिए ऐसी बातों को तूल न दे कर सैक्स लाइफ को ऐंजौय करें. पति का साथ दें, उन के साथ बिस्तर पर सक्रिय बनी रहें.

सैक्सी कपड़ों में लुभाएं

पति को लुभाने व उत्तेजित करने के लिए सैक्सी ड्रैस व हौट लुक में अपने पार्टनर को ऐसा सरप्राइज दें कि यौन संबंधों में नवीनता तो आए ही, सहवास सुखद भी बने. ऐसा होने से पतिपत्नी का आपसी विश्वास व प्यार भी बराकरार रहता है.

नएनए प्रयोग करें

अकसर पुरुष सैक्स को ले कर ज्यादा ही उत्साहित होते हैं. वे नएनए आसनों का प्रयोग कर सहवास को सुखद बनाते हैं. लेकिन पत्नी यदि किसी तरीके को अनकंफर्टेबल महसूस करे तो पति को बताए जरूर.

बहुत सी महिलाएं यौन संबंध बनाते वक्त नएनए प्रयोगों से घबराती हैं. वे ऐसा न कर के पति के साथ सहवास में प्रयोग करें. उम्र कोई बाधा नहीं, दिलदिमाग और शरीर को स्वस्थ रखने और वैवाहिक जीवन को सफल बनाने में नए प्रयोग हमेशा मददगार ही साबित होते हैं.

नितंब सौंदर्य भी जरूरी है : बदल रहा है खूबसूरती का पैमाना

सुंदर नितंब की चाहत हर महिला को होती है. आकर्षक नितंब न सिर्फ महिलाओं की सुंदरता में चार चांद लगाते हैं, बल्कि यह महिलाओं की फिटनैस का भी अहम हिस्सा है.

यों तो महिलाओं की हर अदा और शारीरिक बनावट को देख कर पुरूष रोमांचित होते हैं, मगर आप को यह जान कर हैरानी होगी कि महिलाओं की ब्रैस्ट की तरह ही उभार लिए नितंब यानी बट को ले कर पुरूषों में खासा दिलचस्पी रहती है. इसलिए आज की आधुनिक महिलाएं सुडौल नितंब को ले कर काफी सजग रहने लगी हैं.

वैसे, आमतौर पर देखा गया है कि जिन महिलाओं का शरीर भारी होता है, वे अगर जींस पैंट या टाइट फिटिंग ड्रैस पहन लेती हैं तो फिर यह उन पर सूट नहीं करता. ऐसे में जरूरी यही है कि वे मनमाफिक फैशन के कपङे पहनने से पहले फिटनैस पर ध्यान दें और खासकर नितंब यानी बट पर.

अकसर महिलाएं अपने नितंब के आकार को ले कर भी परेशान रहती हैं. वे कई तरह के उपाय आजमाती हैं  ताकि सुडौल नितंब पा सकें. अगर आप को भी सुंदर नितंब पाने की चाहत है तो आप नियमित व्यायाम, सही खानपान और सही जीवनशैली अपना कर सुडौल नितंब पा सकती हैं.

इस के लिए पहले आप को नितंब की मांसपेशियों और हिप फैट पर ध्यान देना होगा. सुडौल नितंब पाने के लिए व्यायाम आप की काफी मदद कर सकते हैं.

आइए, जानते हैं कुछ ऐसे ही व्यायाम :

ग्लूट ब्रिज : यह सुंदर नितंब पाने के लिए अच्छा व्यायाम है. इस के लिए पीठ के बल लेट जाएं. घुटनों को मोड़ लें. अब ऐड़ियों को भी कूल्हों के पास ले आएं. हाथों को सीधा रखें. ध्यान रहे कि इस दौरान हथेलियां जमीन को छूती रहें. अब कूल्हों और कमर को अपने कंधों से घुटनों तक ऊपर एकसीध में उठाएं. इस दौरान अपने पैरों और हथेलियों को जमीन पर टिका कर रखें. इस स्थिति में कुछ देर तक रुकें और फिर आराम से सामान्य अवस्था में लौट आएं. इसे 2-3 बार दोहराएं.

सिंगल लेग ब्रिज : पीठ के बल लेट जाएं. एक घुटने को मोड़ लें. इस दौरान अपने तलवों को जमीन के साथ सटा कर रखें. अब दूसरे पैर को जमीन पर सीधा रखें. सांस छोड़ते हुए पैर व शरीर को ऊपर उठाएं. इस दौरान पूरे शरीर का वजन दूसरे पैर पर रहे. इस अवस्था में धीरेधीरे सांस लें. इस पोजिशन में 3 सैकंड तक रुकें और फिर धीरेधीरे पुरानी अवस्था में लौट आएं.

लैग लिफ्ट : पीठ के बल लेट जाएं. अपने पैरों को सीधा हवा में रखें. अपने हाथों को जमीन पर सटाकर रखें और पैरों को ऊपर की ओर उठाएं. इस अवस्था में भी कुछ देर रुकें और फिर दोहराएं.

इन सरल व्यायाम से आप जल्दी ही खुद में अंतर महसूस करेंगी. बेहतर होगा कि इस के लिए किसी योग्य फिटनैस ट्रैनर से भी परामर्श ले लें.

सेक्सी पौइंट

सुंदर और आकर्षक नितंब को ले कर एक दिलचस्प वाकेआ भी है. वह यह कि पिछले दिनों अमेरिका में एक सर्वे किया गया था. इस सर्वे में पुरूषों से यह पूछा गया था कि वे महिलाओं के किस अंग की तरफ अधिक आकर्षित होते हैं. तब कई पुरूषों ने बताया था कि उन्हें ब्रैस्ट के साथसाथ महिलाओं के नितंब को देखना अथवा छूना अच्छा लगता है.

दरअसल, नितंब महिला शरीर का वह खास अंग होता है, जो न सिर्फ किसी महिला की फिगर में चार चांद लगाता है, बल्कि यह पुरूषों को अपना दीवाना भी बना लेता है. एक तरह से यह सैक्सी पौइंट भी है.

रोमांचक अनुभव

एक शोध में पुरूषों की महिलाओं को घूरने को ले कर निष्कर्ष निकाला गया. इस के अनुसार जब कोई आदमी किसी महिला को पहली बार देखता है तो सब से पहले उस की नजर सामने से ब्रैस्ट पर और पीछे से उस के नितंब पर पड़ती है.

इस के साथ ही जब कोई पुरूष  किसी महिला के बारे में सोचता है, तो वह उस के ब्रैस्‍ट और नितंब को ले कर रोमांचित होता रहता है.

जान कर हैरानी होगी

महिलाओं को यह जान कर हैरानी होगी कि नितंब के बारे में ऐसी कौन सी बातें हैं जो पुरुषों को पसंद आती हैं? न सिर्फ पसंद बल्कि वह महिला के नितंब को छूने से भी खुद को रोक नहीं पाते. पुरूष अकसर महिलाओं के इस खास अंग को घूरते हुए पकड़े भी जाते हैं.

महिलाओं के इस खास अंग को घूरना, स्पर्श करना न सिर्फ सेक्स के समय पुरूषों को अच्छा लगता है, बल्कि एक पुरूष की यही तमन्ना होती है कि वह घूमते समय, साथ चलते समय बारबार अपने हाथों से उसे स्पर्श करे. इस कार्य में उसे चरम आनंद की अनुभूति होती है. एक तरह से इस खास अंग का पुरूष दीवाना होता है.

खूबसूरती का पैमाना

आप को यह जान कर भी आश्चर्य होगा कि साउथ अफ्रीका के कई देशों में तो किसी महिला की खूबसूरती का पैमाना ही नितंब होते हैं और इसी आधार पर उन की शादियां भी होती हैं.

जिस युवती का नितंब जितना आकर्षक होता है, घर वाले भी उसे ही तवज्जो देते हैं. इतना ही नहीं, वहां एक खास आयोजन भी होता है जिस में कई महिलाएंलङकियां इस खास अंग को हिला कर पुरूषों को आकर्षित भी करती हैं.

शायद तभी हमारे यहां भी अकसर कोई न कोई महिला जो जींस अथवा ऐसे परिधान पहनी हों, जिस में इस अंग का प्रदर्शन होता हो, पुरूषों को चोरीछिपे देखने में आनंद की अनुभूति देता है.

एक तरह से कह सकते हैं कि एक सुंदर और आकर्षक नितंब महिलाओं के लिए अपने पुरूष साथी को दीवाना बनाने का खास हथियार भी है.

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