आमतौर पर आदमी हाड़ तोड़ मेहनत करता है, तब जाकर दो वक्त की रोटी मिल पाती है. मगर ख्वाब में जीने वाले लोग कब अपराध की दुनिया में पैर रखते हैं उन्हें पता ही नहीं चलता. जबसे एटीएम शहर-शहर लगने लगे हैं, लोगों को अपने ख्वाब पूरे करने का मानो एक जरिया मिल गया है. वे लोग, जिनमें अक्सर युवा होते हैं एटीएम को तोड़कर पैसे निकाल, रातों-रात लखपति, करोड़पति बनने के प्रयास करने लगते हैं. मगर होता यह है कि एटीएम तोड़ने के जुर्म में लंबी जेल यात्रा पर जाना पड़ जाता है. इस रिपोर्ट में हम एटीएम तोड़ने और अपराध की दुनिया में गुम हो जाने वाले चेहरों के संदर्भ में आपको बताना चाहेंगे. ताकि हो सके तो यह लेख पढ़कर या आपका मार्गदर्शन मिलने पर, कोई तो एटीएम तोड़ने का और लखपति बनने का ख्वाब देख कर अपनी जिंदगी को जुर्म के दलदल में धकेलने से बच जाए.

एटीएम तोड़ने के चंद सच्चे किस्से

पहला किस्सा-
छत्तीसगढ़ के मुंगेली जिला के ग्राम देवरी के रहने वाले दुबे चंद नामक एक किसान ने पैसों के खातिर एक रात शहर के एक एटीएम में प्रवेश कर उसे तोड़ने का प्रयास किया. मजे की बात यह है कि उसने एटीएम तोड़ने का एक वीडियो यूट्यूब पर देखा था.और इसके बाद वह लखपति बनने निकल पड़ा. मगर सीसीटीवी में कैद हो जाने के बाद और एटीएम तोड़ नहीं पाने मे असफल होकर अंततः वह पकड़ा गया.

दूसरा किस्सा-

जिला कोरबा के दीपका क्षेत्र में एक कोयला खदान कर्मचारी के बिगड़ैल पुत्र ने एक रात एटीएम पर धावा बोला और एटीएम को तोड़ने की भरपूर कोशिश की. बाद में जब पुलिस की पकड़ में आया तो उसने बताया शराब और नशाखोरी की लत के कारण वह एटीएम तोड़ने पहुंच गया था.

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