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30 जनवरी, 2020 की शाम 4 बजे फर्रुखाबाद जिले के करथिया गांव में एक दहशतजदा खबर फैली. खबर यह थी कि गांव के ही सुभाष बाथम ने अपने घर में 2 दरजन मासूम बच्चों को बंधक बना लिया है. उस ने बच्चों को अपनी एक साल की बेटी गौरी के जन्मदिन पर खाने की चीजें देने के बहाने बुलाया था, जिस के बाद उन्हें कैद कर लिया.

जिस ने भी यह खबर सुनी, सुभाष के घर की ओर दौड़ पड़ा. कुछ ही देर में उस के घर के बाहर भीड़ जुटने लगी. सभी खौफजदा थे, लेकिन उन लोगों का हाल बेहाल था, जिन के जिगर के टुकड़े घर के अंदर कैद थे.

यह खबर तब फैली जब सुभाष बाथम के पड़ोस में रहने वाले आदेश बाथम की पत्नी बबली अपनी बेटी खुशी और बेटे आदित्य को बुलाने उस के घर पहुंची. उस ने सुभाष के घर का दरवाजा खटखटाया, लेकिन उस ने दरवाजा खोलने से मना कर दिया. उस ने जब ज्यादा जिद की तो सुभाष बोला, ‘‘पहले गांव के लालू को बुला कर ला.’’

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बबली ने मना किया तो वह गालीगलौज करने लगा. बदहवास बबली अपने घर आई और अपने पति आदेश तथा अन्य घरवालों को बच्चों को बंधक बनाए जाने की जानकारी दी. उस के बाद यह खबर पूरे गांव में फैल गई.

बच्चों को बंधक बनाए जाने की खबर ग्रामप्रधान शशि सिंह और उन के पति हरवीर सिंह को मिली तो उन्होंने तत्काल डायल 112 को सूचना दी. खबर मिलते ही पीआरवी आ गई. पीआरवी के जवान जयवीर तथा अनिल ने सुभाष के घर का दरवाजा खटखटाया और कहा, ‘‘सुभाष, दरवाजा खोलो. तुम्हारी जो भी समस्या होगी, उस का निदान किया जाएगा, बच्चों को छोड़ दो.’’

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