मैं एक लड़की को पसंद करता हूं, पर डरता हूं कहीं वह मुझे गलत समझ जाये!

सवाल

मैं 23 वर्षीय नौजवान हूं. कुछ दिन हुए हम ने दूसरी कालोनी में घर शिफ्ट किया है. वहां बने पार्क में रोज सुबह वौक के लिए जाता हूं. वहां रोज मैं एक लड़की को देखता हूं. हम सेम टाइम पर पार्क में एंटर करते हैं और लगभग एकसाथ आगेपीछे वौक करते रहते हैं. मुझे वह लड़की पसंद आने लगी है. यहां तक कि रात से ही यह सोच कर खुश होने लगता हूं कि कल पार्क में वह दिखेगी. मैं उस से बात करने से अपनेआप को रोक नहीं पा रहा. लेकिन यह सोच कर खुद को रोक लेता हूं कि उस ने मेरी दोस्ती को न अपनाया या मुझे गलत सम झ लिया तो? समझ नहीं आ रहा क्या करूं?

जवाब

अकसर लड़कों के सामने यह समस्या आती है. आप अच्छी तरह सम झ लीजिए कि लड़की कितनी ही फौरवर्ड और एडवांस हो, अगर दोस्ती करनी है तो लड़के को ही दोस्ती के लिए पहल करनी पड़ेगी. वह लड़की पूरी तरह से आप के लिए अनजान है, इसलिए जरा संभल कर बात करनी होगी. बेहतर यही होगा कि जब लड़की अकेली हो, तभी आप उस से जा कर बात करें. आसपास कोई न हो जिस से वह आप से बात करने में हिचकिचाए नहीं.

जब भी बात करें, पूरे आत्मविश्वास के साथ बात करें. डरडर के बात करेंगे तो लड़की आप को डरपोक सम झेगी और आप की दोस्ती शुरू होने से पहले ही खत्म हो जाएगी. आप यह भी नोटिस करें कि वह आप की बातें सुन भी रही है या नहीं, आप में दिलचस्पी ले रही है या नहीं. ज्यादा मत बोलना. उसे भी बोलने का मौका देना.

ऐसा जरूरी नहीं कि पहली बार की बात में ही वह आप की दोस्त बन जाए. कई बार थोड़ा समय लगता है पर देरसवेर वह आप की दोस्त जरूर बन जाएगी. बातें शुरू होने के बाद उस की तारीफ करना न भूलें. लड़कियों को तारीफ बहुत पसंद होती है. अगर कुछ न सू झे तो उस के कपड़ों, उस की मुसकान की तारीफ करें. जब बात शुरू हो जाए तो आई कौन्टैक्ट बनाएं. मतलब आंखों में आंखें डाल कर बात करें. इस से नजदीकी बढ़ेगी और लड़की को भी अपनापन लगेगा.

तो बस, लड़की से बात करने को तैयार हो जाओ. ऐसा न हो लड़की के सामने आप की बोलती बंद हो जाए. डोंट वरी, आप नौजवान हैं, हिम्मती हैं. लड़की को अगर आप पसंद हैं, तो फिर दोस्ती होने में देर नहीं लगेगी.

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लिव इन रिलेशन : बंधन में बंधने से पहले जानें ये जरूरी बातें

लिव इन रिलेशनशिप आज के समय में तेजी से बढ़ रहा है. एक समय ऐसा था जब ऐसे संबंध होने पर लोग खुल कर बात करना पसंद नहीं करते थे. लेकिन आजकल लोग खुल कर इस रिलेशनशिप में रहते हैं खासकर युवा इस रिश्ते को अपनाने में सहजता का अनुभव करते हैं, क्योंकि इस में दायित्व कम होता है.

सेक्स की आजादी

इस बारे में मुंबई की सोशल ऐक्टिविस्ट नीलम गोरहे कहती हैं, ‘‘यह रिश्ता तब तक ठीक रहता है जब तक महिलाओं को कोई समस्या नहीं आती. महिलाएं मेरे पास तब आती हैं जब उन का बौयफ्रैंड उन्हें छोड़ कर चला गया हो या चोरीछिपे शादी कर ली हो. ऐसे में हरेक महिला यही चाहती है कि रिश्ते को मैं ठीक कर दूं. उस लड़के से कहूं कि उसे अपना ले.

‘‘असल में इस रिश्ते के लिए अधिकतर लड़के ही आगे आते हैं, क्योंकि प्यार से अधिक इस में सेक्स की आजादी होती है. यह रिश्ता जितनी आजादी देता है, उतना ही खतरनाक भी होता है. मेरे पास एक मातापिता ऐसे आए जिन की लड़की का मर्डर हो चुका था पर कोई पू्रफ नहीं था. उसे मारने वाला उस का बौयफ्रैंड ही था.

3-4 साल से वह लड़की उस लड़के के साथ लिव इन रिलेशनशिप में थी, जिस का पता उस के मातापिता को नहीं था. जब पता चला तो मातापिता ने लड़की से उस से शादी करने के लिए कहा. लेकिन वह लड़का तब आनाकानी करने लगा, जिसे देख लड़की ने उस रिश्ते से बाहर निकलना चाहा. यह बात लड़के को जब पता चली तो उस ने उस का मर्डर कर दिया. उस का शव बाथरूम में मिला.

‘‘दरअसल, लड़के को यह लगा था कि अलग होने के बाद लड़की कोर्ट जा सकती है, क्योंकि वह पढ़ीलिखी थी. प्रूफ के अभाव में लड़का अभी बाहर है.’’

लिव इन रिलेशनशिप के अधिकतर मामले महानगरों में पाए जाते हैं, जहां काम या पढ़ाई के लिए युवा घर से दूर रहते हैं. उन के बीच अकसर इस तरह के रिश्ते हो जाते हैं. दरअसल, फ्लैट कल्चर में घर शेयर करने यानी साथ रहने में इन्हें फायदा भी नजर आता है.

इन रिश्तों को लड़के ही अधिकतर तोड़ते हैं, लेकिन रिश्ता टूटने पर भावनात्मक से सहज हो जाना कई बार लड़कियों के लिए मुश्किल हो जाता है, क्योंकि इस में लड़की के परिवार की भूमिका न के बराबर होती है.

नीलम कहती हैं, ‘‘इस तरह के रिश्ते को बढ़ावा देने में धर्म भी कम नहीं. अधिकतर लोग विपरीत धर्म या जाति में शादी करने के लिए इजाजत नहीं देते, इसलिए रिश्ते को छिपाना पड़ता है. कई बार तो लोग दोहरी जिंदगी भी जीते हैं, जो डिप्रैशन, मर्डर, आत्महत्या जैसी कई घटनाओं को जन्म देती है.

‘‘इस रिश्ते को शादी का नाम देने के लिए मातापिता, परिवार व समाज के सहयोग की आवश्यकता होती है, जो आमतौर पर नहीं मिलता. इस रिश्ते में बड़ी समस्या तब आती है जब दोनों के बीच में बच्चा आ जाता है. बच्चा जब स्कूल जाने लगता है तब उत्तरदायित्व समझ में आता है. हालांकि आजकल डी.एन.ए. टैस्ट का प्रावधान हो चुका है, जिस से महिला को काफी राहत मिल रही है.

‘‘शादी करना आजकल काफी खर्चीला भी होता है. इस के लिए समय और संसाधन की भी जरूरत होती है. वहीं अगर शादी असफल हो जाए तो तलाक के लिए कानूनी झंझट से गुजरना पड़ता है. लिव इन रिलेशन दरअसल शादी का प्रिव्यू है जिस से व्यक्ति यह अंदाजा लगा सकता है कि शादी सफल होगी या नहीं.

ठगी की शिकार महिलाएं

सीनियर ऐडवोकेट आभा सिंह कहती हैं कि लिव इन रिलेशनशिप बड़े शहरों में अधिक है और इसे सामाजिक कलंक अभी भी हमारे समाज में माना जाता है. बहुत कम महिलाएं हिम्मत कर अपना कानूनी अधिकार पाती हैं, क्योंकि कोर्ट, वकील की बातें बहुत कठोर होती हैं. उन्हें सह पाना आसान नहीं होता.

बहुत सारी ऐसी घटनाएं हैं जिस में महिलाएं ठगी गईं पर उन्होंने रिपोर्ट नहीं लिखवाई. बौलीवुड के सुपरस्टार राजेश खन्ना की मौत के बाद उन के बंगले का विवाद सामने आया. उन के साथ लिव इन रिलेशनशिप में रहने वाली अनिता आडवाणी को परिवार के लोगों ने धक्के मार कर घर से बाहर निकाल दिया. जबकि वे 8 साल से राजेश खन्ना के साथ रह रही थीं. जब वे मेरे पास आईं, तो मैं ने पहली बात यही पूछी कि आप इतने दिनों तक कहां थीं? पहले क्यों नहीं आईं जब राजेश खन्ना जीवित थे? दरअसल, उन के पास ऐसा कोई प्रूफ यानी सुबूत नहीं था कि वे उन के साथ रह रही थीं, ऐसे केस में प्रूफ के लिए निम्न जगहों पर साथ रहने वाली का नाम होना चाहिए:

– जौइंट अकाउंट में.

– बिजली या मोबाइल बिल में.

– राशन कार्ड में.

ऐसा होने पर ही आप सिद्ध कर सकती हैं कि आप उस व्यक्ति से कुछ पाने की हकदार हैं.

अनिता आडवाणी को 200 करोड़ की प्रौपर्टी में से कुछ भी नहीं मिला. हाई कोर्ट में भी उन की अर्जी खारिज कर दी गई. अब वे सुप्रीम कोर्ट जा रही हैं.

इन शर्तों को जानें

गुजारा भत्ता पाने के लिए भी सुप्रीम कोर्ट ने यह साफ कर दिया है कि लिव इन रिलेशन में निम्न 4 शर्तें पूरी होना जरूरी हैं:

– ऐसे युगल समाज के सामने पतिपत्नी के तौर पर आएं.

– वे शादी की कानूनी उम्र पूरी कर चुके हों.

– उन के रिश्ते कानूनी रूप से शादी करने के लिए वर्जित न हों.

– दोनों स्वेच्छा से लंबे वक्त तक यानी कम से कम 6 साल साथ रहे हों.

रिश्ता खराब नहीं

26 नवंबर 2013 को एक अदालती आदेश में रिलेशनशिप को क्राइम नहीं माना गया. इस से इस रिश्ते को अपनाने वाले युवाओं को काफी राहत मिली. मैरिज काउंसलर संजय मुखर्जी कहते हैं कि ऐसे केसेज में दिनोंदिन बढ़ोतरी हो रही है. यह रिश्ता खराब नहीं है. कई बार शादी के बाद पतिपत्नी में अनबन हो जाती है, इसलिए बहुत से यूथ इसे अपनाते हैं. अधिकतर आत्मनिर्भर महिलाएं ही इस रिश्ते को पसंद करती हैं, क्योंकि इस में सासससुर, ननद, देवर आदि का झंझट नहीं रहता.

यह रिश्ता एक तरह से ऐक्सपैरिमैंटल होता है, जिस में 3-4 महीने तो ठीक ही चल जाते हैं. समस्या 1 साल बाद आती है. मेरे हिसाब से 1 साल तक इस रिश्ते में रहने के बाद महिलाओं को शादी करने के बारे में सोचना चाहिए. इस के अलावा कुछ बातों पर उन्हें खास ध्यान देना चाहिए:

– अगर लड़का शादी न करना चाहे, तो वजह पता करें.

– दोनों अपनी कमाई जौइंट अकाउंट में साथसाथ डालें और दोनों उसी से खर्च करें.

– अगर शादी नहीं करनी है, तो पहले ही वकील से परामर्श कर स्टैंप पेपर पर अपने हिस्से को सुनिश्चित करवा लें.

इस के अलावा संजय कहते हैं कि लिव इन रिलेशन में बच्चे की प्लानिंग न करें ताकि आगे चल कर आने वाले बच्चे को अपराधबोध न हो.

वैसे हर रिश्ते की अपनी अलग अहमियत होती है. लेकिन जहां शादी एक महिला को सुरक्षित जीवन देती है, वहीं लिव इन रिलेशनशिप में असुरक्षा अधिक रहती है. सही यही होगा कि आप अपने रिश्ते को समझने की कोशिश करें और अपने भविष्य में आने वाली परेशानियों से अपनेआप को बचाएं.

मेरे पति हर रात सब के सामने मुझे मारते हैं, मैं क्या करूं ?

सवाल

मैं 30 साल की शादीशुदा औरत हूं. मेरे पति शराबी हैं और तकरीबन हर रात घर आ कर सब के सामने मुझे मारते हैं. बैडरूम में सैक्स के नाम पर मेरे शरीर को रौंद देते हैं. मेरी जिंदगी एक बंधुआ मजदूर सी हो गई है, जो हर दिन अपने हाड़ घिसती है और बदले में प्यार के दो मीठे बोल के लिए तरस जाती है. कई बार मरने का खयाल भी आया, पर अपनी बेटी के लिए खामोश रह जाती हूं. मैं क्या करूं?

जवाब

बेशक आप की समस्या बहुत गंभीर है, लेकिन आप हिम्मत और सब्र से काम लें. खुदकुशी कर लेना किसी भी समस्या का हल नहीं है, बल्कि इस से तो आप की बेटी की जिंदगी नरक हो जाएगी. रोजरोज की मारपीट झेलने से तो बेहतर है कि आप शराबी पति से अलग हो जाएं. अगर मायके वाले सहारा दे सकें तो आप को ज्यादा सहूलियत होगी, नहीं तो आप अकेली अपने दम पर भी गुजरबसर कर छोटेमोटे काम कर सकती हैं.

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सैक्स के बारे में बात करने से चाहे आप कितना भी कतराएं, यकीन मानिए इस में डूब जाने जितना मजा किसी और में नहीं. फिर चाहे आप बौयफ्रैंड के साथ अपने रिश्ते को आगे बढ़ाना चाहती हों या फिर शादी के बाद की पहली रात हो, यह एहसास बहुत खास होता है. लेकिन पहली बार की घबराहट भी उतनी ही होती है, जितना की उत्साह.

दोस्तों के बीच टौयलेट जोक्स और लूज टौक करने में आप अव्वल हैं. फिल्म हो या टीवी, बैड सीन देखने में बड़ा मजा आता है. मगर जब खुदकी बारी आई तो टांयटांय फिस्स. आप तो कागज की शेर निकलीं. इतना घबराएंगी तो जीत कैसे हासिल होगी. सैक्स है कोई रौकेट सांइस नहीं. आइए जानते हैं कि वे कौन सी 10 बातें हैं, जिन का ध्यान पहली बार सैक्स करते समय जरूर रखना चाहिए:

कंफर्टेबल हों तभी बढ़ें आगे

पहला मिलन हमेशा रहता है याद यह जुमला बहुतों से सुना होगा और इस से जुड़ी कई कहानियां भी. कहानियों पर न जाएं. व्यावहारिक हो कर सोचें कि क्या वाकई पहली बार सैक्स करना इतना रोमांचित करने वाला होता है. बेशक हो सकता है बशर्ते, पूरी तैयारी के साथ यह कदम उठाया जाए. जब कान्फिडेंट होंगी तभी इस का आनंद ले पाएंगी. क्या मैं इस के लिए तैयार हूं? यह सवाल उतना ही अहम है, जितना आप का सांस लेना. बौयफ्रैंड हो या पति, सोचसमझ कर, कंफर्टेबल होने पर ही आगे बढ़ें.

महकीमहकी हों आप

चर्चित सैक्सोलौजिस्ट डा. प्रकाश कोठारी की सलाह है, “साथ तभी महकेगा जब आप खुशबू से सराबोर होंगे. कोई अच्छी फ्रेगरैंस लगाएं, क्योंकि सुगंध का आपके मन मस्तिष्क पर बहुत असर पड़ता है. किसी को परफ्यूम पसंद आता है, तो किसी को शरीर की गंध उत्तेजित करती है.” खूशबू आप दोनों को एक दूसरे की ओर आकर्षित करने के साथ साथ एक दूसरे के सामने सहज भी बनाएगी.

उत्साह पर तनाव हावी न होने दें

क्या पहली बार में दर्द होगा? डा. कोठारी के मुताबिक़, यह एक मिथक है. पहली बार की उत्सुकता और घबराहट इतनी ज्यादा होती है कि हल्की सी छुअन भी हमारे पूरे शरीर में सिहरन पैदा कर देती है. क्या होगा, क्या नहीं, इस घबराहट में हमारे नर्व्स भी तनाव में आ जाते हैं. दूसरा हम अपने प्राइवेट पार्ट्स को भी कसकर बंद कर लेते हैं, क्योंकि हम सहज नहीं होते. इसलिए प्रवेश करने में काफी दिक्कत होती है. और हम मान बैठते हैं कि पहली बार में दर्द होता है. आप जितनी ज्यादा सहज और तनाव मुक्त रहेंगी, उतना ज्यादा बेहतर होगा आपका अनुभव.

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मेरी सेक्सलाइफ अच्छी नहीं चल रही है, मैं क्या करूं?

सवाल

मेरी उम्र 28 वर्ष है और पति की 32. शादी हुए 2 साल हो गए हैं. अभी हमारा कैरियर पीक पर है, इसलिए बच्चा प्लान नहीं कर रहे. पिछले 2 महीने से नोट कर रही हूं कि मेरे और पति के बीच सैक्स में ठंडापन आ गया है. ऐसा नहीं है कि हम पतिपत्नी में प्यार नहीं है या मैं पति की जरूरतों का ध्यान नहीं रखती. औफिस की व्यस्तता के बावजूद हमारी सैक्सलाइफ अच्छी चल रही थी, लेकिन कुछ समय से ही मुझे ऐसा महसूस हो रहा है कि हमारे बीच कुछ कमी सी आ गई है, ऐसा क्यों महसूस कर रही हूं?

जवाब

ऐसा लगता है आप पतिपत्नी अपने कैरियर बनाने में इतने बिजी हो गए हो कि अपनी सैक्सलाइफ को सिर्फ रूटीन में ले लिया है. बच्चा अभी चाहते नहीं, इसलिए प्रिकौशंस भी लेते होंगे. यानी कि खुल कर सैक्स करने का मन भी होता होगा, तो नहीं करते होंगे. खैर, ये अलग बातें हैं. समस्या है आप दोनों के बीच सैक्स का ठंडापन.

लाइफ में जब हर काम एक ही ढर्रे से चल रहा हो तो जीवन में नीरसता आना लाजिमी है. यही बात सैक्सलाइफ के ऊपर भी लागू होती है. बैडरूम में कपल्स को अपने सैक्सुअल परफौरमैंस में थोड़ा नयापन लाते रहना चाहिए.

सैक्स के लिए पार्टनर का मूड सैट करना जरूरी है. ऐसी बातें करें कि वे उत्तेजित हो जाएं. जितना एक्साइटिड करेंगे, रिजल्ट उतना ही अच्छा मिलेगा. पतिपत्नी के रिश्ते में शुरुआती दिनों में जितनी गर्माहट होती है, धीरेधीरे कम होने लगती है. इस का मतलब यह नहीं कि आप में कुछ कमी है. बस, रिलेशनशिप में नयापन लाने की कोशिश करनी होगी.

इंटिमेट पल के दौरान यह याद रखें कि आप के पार्टनर की कामुकता आप के किस मूव से बढ़ती है. अगर बैड पर जाने के बाद भी आप के अंदर हिचक या शर्म है तो इस से पार्टनर का जोश भी ठंडा हो सकता है. आप दोनों प्लान कर के किसी रात वाइल्ड सैक्स कर सकते हैं और अपने सैशन को रोमांचकारी बना सकते हैं.

आप के पास मास्टरबेशन का भी औप्शन है. मास्टरबेट कर के फिजिकल रिलेशन के लिए खुद का मूड बनाएं. हैल्दी सैक्सलाइफ के लिए अपने खानपान में तरबूज, स्ट्राबैरी, बादाम, डार्क चौकलेट आदि शामिल करें. धूम्रपान से परहेज करें. इन टिप्स को बिंदास अपनाएं, आप खुद फर्क महसूस करेंगी.

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क्या महिला कंडोम सुरक्षित है? कृपया बताएं

सवाल

मैं 24 वर्षीय शादीशुदा महिला हूं. मेरी शादी हाल ही में हुई है. हम फिलहाल बच्चा नहीं चाहते. गर्भनिरोध के लिए पति कंडोम का इस्तेमाल करते हैं. सैक्स को आनंददायक बनाने के लिए यों तो बाजार में कई प्रकारों व फ्लेवर्स में कंडोम्स उपलब्ध हैं पर मैं ने महिला कंडोम के बारे में भी सुना है. क्या यह सुरक्षित है और सैक्स को मजेदार बनाता है?

जवाब

पुरुष कंडोम की तरह महिला कंडोम भी गर्भनिरोध का आसान व सस्ता विकल्प है. महिला कंडोम न सिर्फ प्रैगनैंसी को रोकने में सक्षम है बल्कि यह सैक्स के पलों को भी रोमांचक बनाता है.

महिला कंडोम ‘टी’ शेप में होता है, जिसे वैजाइना में इंसर्ट करना होता है. शुरूशुरू में यह प्रक्रिया जटिल जरूर लग सकती है पर इस का इस्तेमाल बेहद आसान है और यह सैक्स को आनंददायक बनाता है. यह पूरी तरह सुरक्षित भी है. इस की डबल कोटिंग मेल स्पर्म को आसानी से सोख लेती है.

वैजाइना में इंसर्ट के दौरान इस की आंतरिक रिंग थोड़ी लचीली हो जाती है और बाहरी रिंग वैजाइना से 1 इंच बाहर रहती है. सैक्स के दौरान इस कंडोम की बाहरी रिंग वैजाइना की बाहरी त्वचा को गजब का उत्तेजित करती है और सैक्स के पलों को मजेदार बनाती है.

इसे सैक्स से कुछ घंटे पहले भी लगाया जा सकता है. सब से अच्छी बात यह है कि कंडोम लगाए हुए बाथरूम भी जाया जा सकता है.

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मेरी पत्नी को लगता है कि मेरी कोई गर्लफ्रैंड है, मैं क्या करूं?

सवाल

मेरी शादी को 4 साल हो चुके हैं. हमारा रिश्ता हमेशा से ठीक रहा है लेकिन हम कभी एकदूसरे से दोस्त बन कर बात नहीं कर सके. मेरी औफिस में एक दोस्त है जिस से मेरी घनिष्ठ मित्रता है. मेरी पत्नी को अब उस के बारे में पता चला तो अचानक वह मुझ पर शक करने लगी जबकि ऐसा कुछ है ही नहीं. मेरे और मेरी दोस्त के बीच दोस्ती से ज्यादा कुछ भी नहीं है जबकि मेरी पत्नी यह मानने को तैयार नहीं है. उस के इस तरह शक करने से मैं बुरी तरह आहत हुआ हूं और अब मुझे अपनी पत्नी से बात करना भी अच्छा नहीं लगता. पता नहीं क्यों लेकिन मुझे उस की हर बात से चिढ़ होने लगी है. मुझे इस शादी से निकलने का मन करने लगा है.

जवाब

किसी एक झगड़े या कहें गलतफहमी के चलते आप अपने रिश्ते को खत्म करने की बात कर रहे हैं तो यह भला कैसे सही होगा. माना आप की पत्नी ने आप को समझने की कोशिश नहीं की लेकिन आप तो अपनी पत्नी को समझने की कोशिश कर सकते हैं. जब आप उन की परेशानी समझ जाएंगे तभी आप उन्हें अपनी बात समझा सकते हैं. उन्हें आप की दोस्ती से शिकायत है तो आप उन्हें क्लीयर बताइए कि बात क्या है. आप का उन से चिढ़ना या उन से बात न करने का मन होना निरर्थक है. आप खुद को उन की जगह रख कर देखेंगे तो शायद आप को उन की बात समझ में आएगी. यह मसला बैठ कर बात करने से सुलझ सकता है. इसे इतना उलझा कर रिश्ता तोड़ने की संभावना तक मत पहुंचिए.

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मुझे लगता है कि मेरा बौयफ्रैंड जबरदस्ती करना चाहता है, मैं क्या करूं?

सवाल

मेरा एक लड़के के साथ 5 साल से चक्कर चल रहा है. मेरे प्रेमी ने ही मेरी बीए की पढ़ाई कराई है और वही मेरा खर्चा उठाता है. लिहाजा, वह मनमानी करता है. मैं कालेज जाती हूं, तो मुझे लगता है कि कोई हाथ पकड़ कर रोक रहा हो और यह भी कह रहा हो कि मैं तेरा घर नहीं बसने दूंगा, न पैसे कमाने दूंगा. डाक्टर को दिखाया, पर कोई फायदा नहीं हुआ. मैं क्या करूं?

जवाब

आप की या आप के घर वालों की ऐसी क्या मजबूरी थी, जो आप उस लड़के के चक्कर में फंसती चली गईं? वह  5 साल से आप को रखैल की तरह इस्तेमाल कर रहा है और आप इनकार नहीं कर पा रहीं. उस ने आप पर जो एहसान किया, उसे आप जिस्म से लगातार चुका रही हैं. अब यह लेनदेन बंद कर के अपने पैरों पर खड़ी होने की कोशिश करें.

इस भुतहे भ्रम को दिमाग से निकाल दें कि आप का घर नहीं बसेगा या आप कमा नहीं पाएंगी. आप ने बीए किया है. लिहाजा, कोई न कोई नौकरी आप को जरूर मिल जाएगी. उस लड़के से पूरी तरह नाता तोड़ लें और मुमकिन हो तो मांबाप के साथ कहीं और चली जाएं. लड़का धमकी दे, तो पुलिस में रिपोर्ट करें.

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पति शराबी है, मैं बेटे की शादी के लिए पैसे नहीं जुटा पा रही हूं, क्या करूं?

सवाल

मेरे बेटे की उम्र शादी की हो गई है, लेकिन हम उस की शादी नहीं करा पा रहे हैं. उस के पापा आए दिन शराब पीते हैं व कभीकभी कर्ज तक ले लेते हैं जिस से उन की तनख्वाह घर में आने की जगह उन के ही खर्चों में निबट जाती है. हम बेहद परेशान हो चुके हैं. बेटे की शादी के लिए पैसा नहीं है, उस की तनख्वाह से ही घर चलता है, इसलिए शादी के लिए उस के पास भी पैसे जमा नहीं हैं. हमारा एकलौता बेटा है, हम उस की कौर्ट मैरिज कराएंगे तो लोग क्या कहेंगे? क्या करें, समझ नहीं आता.

जवाब

आप की सब से बड़ी परेशानी तो यह है कि आप यह सोच रही हैं कि लोग क्या कहेंगे. लोग आप का घर नहीं चला रहे हैं, न ही आप के दुखदर्द से उन का कुछ लेनादेना है. इस दिखावे की दुनिया से बाहर निकलिए. आप देख रहे होंगे कि किस तरह लोग कोरोना के चलते 15-20 लोगों में ही शादी कर रहे हैं.

अपनी हैसियत के हिसाब से शादी करने में आखिर परेशानी ही क्या है. कोर्ट मैरिज तो शादी का सब से सुलभ और शांतिपूर्ण तरीका है. लोग क्या कहेंगे जैसी बातें पीछे छोड़ आगे बढ़ने में ही सब की भलाई है.

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मेरी शादी होने वाली है, पर मैं किसी और लड़के से प्यार करती हूं तो ऐसे में मुझे क्या करना चाहिए ?

सवाल

मैं अजीब दुविधा में हूं. मेरी उम्र 26 साल की है. लौकडाउन से पहले इसी साल दीदी की शादी में अपने जीजा के दोस्त को अपना दिल दे बैठी हूं. शादी के दौरान हम दोनों के बीच खूब हंसीमजाक हुआ. अब मुझे रातदिन उस का खयाल आता रहता है. लेकिन मुझे यह नहीं पता कि वह भी मेरे बारे में वही महसूस कर रहा है जो मैं कर रही हूं. क्या मुझे घर वालों से बात करनी चाहिए क्योंकि वे अब मेरे विवाह के लिए लड़का ढूंढ़ने लगे हैं?

जवाब

इस में मुश्किल क्या है. आप सब से पहले अपनी दीदी से बात कीजिए. वह आप के जीजा से बात कर के पहले उस लड़के के बारे में पूरी जानकारी हासिल कर ले. वह आप के जीजा का दोस्त है तो उन्हें पता ही होगा कि कहीं उस का पहले से कोई अफेयर तो नहीं या शादी के बारे में उस का क्या खयाल है और आप के बारे में क्या विचार हैं.

2 बातें हो सकती हैं- पहली यह कि वह लड़का भी आप को पसंद करने लगा हो या दूसरी यह कि उस का हंसीमजाक, आप से बातें करना दीदी की शादी तक ही सीमित हो. पहले दीदीजीजा को उस लड़के से बात करने दीजिए. सब ठीक रहा तो वे ही घर वालों से बात कर लेंगे. अगर उस लड़के की तरफ से आप के लिए उन्हें कोई सिग्नल नहीं मिला तो आप भी उस लड़के को भूलने की कोशिश करें, समझदारी इसी में है.

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मेरे बचपन का दोस्त खुलकर बात नहीं करता, मैं क्या करूं?

सवाल

मैं दिल्ली में एक एमएनसी में काम करती हूं. कुछ दिनों पहले मेरे स्कूल में पढ़ने वाले लड़के ने मेरी कंपनी जौइन की है. मैं जानती हूं वह स्वभाव से शर्मीला है. लेकिन अब उस में काफी बदलाव आ गया है. वह काफी आत्मविश्वास के साथ बोलता है. फिर भी मुझे लगता है वह मुझ से खुल कर बात नहीं करता. हम एकदूसरे के काफी नजदीक आ गए हैं और मुझे यकीन है कि वह मुझ से प्यार करने लगा है, लेकिन बोलने में हिचक रहा है. मैं उस के बोलने का इंतजार कर रही हूं. क्या मुझे पहल करनी चाहिए?

जवाब

आप जानती हैं कि आप का बौयफ्रैंड स्वभाव से शर्मीला है तो आई लव यू बोलने की पहल आप कर के उस की झिझक को खत्म कर सकती हैं. रही बात कि वह आप से खुल कर बात नहीं करता, तो हो सकता है आप उस पर हावी रहती हों.

रिलेशनशिप में बातचीत करना बेहद खास होता है. एकदूसरे से सवाल पूछें, इस से बौंडिंग बेहतर होती है और आप को अपने पार्टनर के साथसाथ खुद के बारे में काफी कुछ पता चलता है व अपनी कमियों के बारे में पता चलता है.

ब्रौयफ्रैंड को पूरी तरह अपने भरोसे में लें. इस से वह अपनी बातें शेयर करने में झिझक महसूस नहीं करेगा. कुछ सवाल, जैसे ‘क्या उसे खुद को बदलने की जरूरत है? या क्या मैं ने कभी तुम्हारी फीलिंग हर्ट की है?’ पूछ कर अपने बारे में उस की राय जानें. इस से एक तो पार्टनर का दिल हलका हो जाता है और आप को भी इस बात का एहसास होता है कि कब आप अपने इमोशंस में बह कर लिमिट क्रौस कर देती हैं.

जब आप अपने पार्टनर से यह बात करें तो अपनेआप पर कंट्रोल रखें. हो सकता है कि जब आप का पार्टनर अपने दिल की बातें कहे तो उन में कुछ ऐसी बातें भी हों जो आप को अच्छी न लगें. लेकिन उस दौरान सब्र से उस की बातें सुनें और उस की हालात को समझने की कोशिश करें.

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